प्रकरण में बागीदौरा डीएसपी गजेंद्रसिंह राव ने बताया कि पोस्टमार्टम के बाद एफएसएल जांच के लिए मृतका का विसरा भेजा गया। लैब ने महिला के विसरे में जहर ही नहीं होने की पुष्टि की, तो जानवर काटने की कहानी पर शंका हुई। बाद में जब सीआई पाटीदार ने ससुराल के पड़ोसियों और मृतका के पीहर पक्ष से पूछताछ कर साक्ष्य बटौरे तो गुड्डी को प्रताडि़त किए जाने की पुष्टि हुई। फिर सीएचसी के डॉक्टर और स्टाफ से भी पूछताछ कर रेकॉर्ड लिया गया। पता चला कि महिला की मौत दम घुटने से हुई है। इस पर हत्या कर साक्ष्यों से छेड़छाड़ और बाद में आकस्मिक मृत्यु का रूप देने पर कार्रवाई की गई