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Mukhtar Ansari Ambulance case: डा. अल्का का सहयोगी निकला कोरोना पॉजिटिव, दोनों ने माना- मुख्तार अंसारी के कहने पर ही किया था ये काम

locationबाराबंकीPublished: Apr 21, 2021 12:34:10 pm

Mukhtar Ansari Ambulance case: माफिया डॉन और बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी को पंजाब की मोहाली कोर्ट ले जानी वाली एंबुलेंस को लेकर सारे राजों पर से पर्दा उठने लगा है।

Mukhtar Ansari Ambulance case: डा. अल्का का सहयोगी निकला कोरोना पॉजिटिव, दोनों ने माना- मुख्तार अंसारी के कहने पर ही किया ये काम

Mukhtar Ansari Ambulance case: डा. अल्का का सहयोगी निकला कोरोना पॉजिटिव, दोनों ने माना- मुख्तार अंसारी के कहने पर ही किया ये काम

बाराबंकी. Mukhtar Ansari Ambulance case: माफिया डॉन और बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी को पंजाब की मोहाली कोर्ट ले जानी वाली एंबुलेंस को लेकर सारे राजों पर से पर्दा उठने लगा है। इस एंबुलेंस का बाराबंकी एआरटीओ में फर्जी दस्तावेजों से रजिस्ट्रेशन मऊ के श्याम संजीवनी अस्पताल एवं रिसर्च सेंटर की डा. अलका राय और उनके सहयोगी डा. शेषनाथ राय, मुजाहिद, राजनाथ यादव व दूसरे आरोपियों ने मुख्तार अंसारी के कहने पर ही करवाया था। यह बात गिरफ्तार अलका राय और उसके सहयोगी ने खुद स्वीकार कर ली है। मऊ जिले से गिरफ्तार कर डा. अलका राय और शेषनाथ राय को बाराबंकी कोतवाली पुलिस ने कोर्ट में पेश किया था। जहां से दोनों आरोपियों को जेल भेज दिया गया है। वहीं शेषनाथ राय की कोरोना की जांच रिपोर्ट पाजिटिव आई है। इसके बाद उसे जिला कारागार में कोविड आइसोलेट की अलग बैरक में रखा गया है। इसमें एक साथी राजनाथ यादव भी है, जिसे पहले ही जेल भेजा जा चुका है।
दनों भेजे गए जेल

बाराबंकी के पुलिस अधीक्षक यमुना प्रसाद ने बताया कि फेक आइडी बनाकर मऊ के श्याम संजीवनी अस्पताल के नाम से डा. अल्का राय और उनके सहयोगियों ने एंबुलेंस खरीदकर रजिस्टर्ड कराया था। शेषनाथ एम्बुलेंस खरीद में जमानतदार थे। दोनों को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया है। अलका राय ने अपने बयान में बताया है कि मुख्तार अंसारी के कहने पर साल 2013 में फेक आइडी के सहारे एंबुलेंस खरीदी थी। जोकि मुख्तार अंसारी के निजी काम में प्रयोग होती थी। एसपी के मुताबिक मामले में बाकी दूसरे फरार आरोपियों की तलाश की जा रही है।
चर्चा में आई थी एंबुलेंस

आपको बता दें कि मुख्तार अंसारी को पंजाब में कोर्ट ले जाने बाद ये एंबुलेंस चर्चा में आई थी। जांच में पता चला था कि यह एंबुलेंस फर्जी दस्तावेजों के आधार पर बाराबंकी एआरटीओ में रजिस्टर्ड कराई गई थी। इसके बाद एआरटीओ प्रशासन पंकज सिंह ने मऊ की अस्पताल संचालिका डा. अलका राय को नामजद कर केस दर्ज कराया था। बाद में डा. अल्का राय से पूछताछ के आधार मुख्तार अंसारी को भी मामले में सह अभियुक्त बनाया गया था।
डॉ अलका का सहयोगी कोरोना पॉजिटिव

डा. अल्का राय के साथ मऊ से गिरफ्तार किए गए उनके सहयोगी शेषनाथ राय की कोरोना की जांच रिपोर्ट पाजिटिव आई है। इसके बाद उसे जिला कारागार में कोविड आइसोलेट की अलग बैरक में रखा गया है। बाराबंकी जेल अधीक्षक हरिबक्श सिंह ने बताया कि कोरोना रिपोर्ट निगेटिव आने पर ही उसे कारागार की मुख्य बैरक में बाकी बंदियों के साथ रखा जाएगा। वर्तमान में जो भी बंदी आ रहे हैं उनका कोविड टेस्ट कराया जा रहा है। चार अलग बैरक पाजिटिव आने वाले बंदियों के लिए रखी गई हैं। इनमें पाजिटिव आने वाले बंदियों को रखा जा रहा है।
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