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बाड़मेर

15 देश मिलकर कर रहे क्रूड ऑयल मॉनोपोली, बाड़मेर तोड़ेगा

युद्धस्तर पर तेल दोहन की तैयारी15 देश मिलकर कर रहे क्रूड ऑयल मॉनोपोली, बाड़मेर तोड़ेगा- देश में स्ट्रेटिक रिजर्व वायर से निकाला 50 लाख बैरल तेल- 15 देश मिलकर कर रहे मॉनोपोली

बाड़मेरNov 26, 2021 / 11:38 am

Ratan Singh Dave

15 देश मिलकर कर रहे क्रूड ऑयल मॉनोपोली, बाड़मेर तोड़ेगा

15 देश मिलकर कर रहे क्रूड ऑयल मॉनोपोली, बाड़मेर तोड़ेगा

रतन दवे
बाड़मेर पत्रिका.
विश्व के बड़े 15 देश मिलकर कच्चा तेल निर्यात की मॉनोपोली पर उतर आए है। भारत,अमेरिका और चीन तीनों बड़े देशों को कच्चा तेल इतने महंगे दाम पर पहुंच रहा है । अब इसकी मॉनोपोली तोडऩे को घरेलू उत्पादन बढ़ाना निहायत जरूरी हो गया है। भारत इसके लिए बाड़मेर-सांचौर बेसिन से घरेलू तेल का उत्पादन युद्ध स्तर पर बढ़ाएगा। फिलहाल देश के तीनों बड़े स्ट्रेटिक रिजर्व से 50 लाख बैरल तेल बाजार में उतारा गया है। यह पहली बार हुआ है, अन्यथा केवल युद्ध या आपात हालात में ही रिजर्व तेल को निकाला जाता है।
तेल निर्यात का 91 प्रतिशत हिस्सा 15 तेल उत्पादन देशों से होता है, इन देशों ने अपना संगठन बना लिया है। जो फिलहाल तेल की कीमतें आसमान पर ले जाने के साथ ही निर्यात को लेकर भी हाथ खींच रहे है। भारत में 80 प्रतिशत के करीब तेल आयात होता है और 20 फीसदी घरेलू उत्पाद है जो प्रतिदिन करीब 7.5 लाख बैरल है। एपिक देशों की मॉनोपोली के चलते अब क्रूड ऑयल के दाम करीब 80 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच गए है। इतने महंगे दामों का असर पूरे देश की महंगाई पर होने लगा है।
50 लाख बैरल तेल निकाला
देश के तीन स्ट्रेटिक रिजर्व वायर विशाखापट्टनम, बैंगलोर और पद्दुर में दस दिन का क्रूड ऑयल रिजर्व है और इसको युद्ध या आपातकाल के लिए उपयोग में लेने के लिए रखा जाता है लेकिन देश में बढ़ी महंगाई में पहली बार इन रिजर्व वायर से 50 लाख बैरल क्रूड ऑयल बाजार में उतारा गया है।
बाड़मेर यों देगा आत्मनिर्भरता
ओपिक देशों के भरोसे चल रहा देश का आयात अब बाड़मेर की ओर उम्मीदभर हा गया है। बाड़मेर से अभी 1.75 लाख बैरल प्रतिदिन क्रूड ऑयल निकाला जा रहा है। इसको 5.50 लाख बैरल तक बढ़ाने के साथ ही 2030 तक बाड़मेर के क्रूड ऑयल का अधिकतम दोहन करने की नीति पर कार्य युद्ध स्तर पर प्रारंभ किया जाएगा। देश के कुल घरेलू उत्पादन में अभी बाड़मेर 20 प्रतिशत से करीब है इसको 50 प्रतिशत से अधिक ले जाया जाएगा।
तकनीकी क्षमता बढ़ेगी
बाड़मेर-सांचौर बेसिन पर मौजूदा तेल का दोहन करने के साथ ही बाड़मेर-जैसलमेर के 11 नए फील्ड पर भी अब अन्वेषण का कार्य प्रारंभ किया जा रहा है। साथ ही तेल की रिकवरी रेट बढ़ाने के लिए अत्याधुनिक तकनीकों शामिल किया जा रहा है।
ये पंद्रह देश है आेपिक:
अल्जिरिया, अंगोला, कांगो, इक्वाडोर गिनी, गैबॉन, इराक, इरान, कुवैत, लिबिया, नाइजिरिया, करत, सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमिरात और वैनेजुएला
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