10 किमी तक नहीं पेयजल प्रबंध
मठाराणी गांव धोरों के बीच छितराई ढाणियों में बसा हुआ है। गांव के आस-पास 10 किमी की परिधि में पेयजल के साधन नहीं है। एेसे में लोगों को खलीफे की बावड़ी से पानी लाना पड़ रहा है। गरीब तबके की महिलाएं व पुरुष सिर पर मटकी लेकर पानी लाने को मजबूर हैं।
मठाराणी गांव धोरों के बीच छितराई ढाणियों में बसा हुआ है। गांव के आस-पास 10 किमी की परिधि में पेयजल के साधन नहीं है। एेसे में लोगों को खलीफे की बावड़ी से पानी लाना पड़ रहा है। गरीब तबके की महिलाएं व पुरुष सिर पर मटकी लेकर पानी लाने को मजबूर हैं।
गंभीर पेयजल संकट, सुनवाई नहीं
गांव में गंभीर पेयजल संकट की स्थिति है। एक माह से ट्यूबवेल बंद है। अधिकारियों को कहने पर भी संतोषजनक जवाब नहीं देते। परेशान हो गए हैं। रोशन खां खलीफा, पूर्व सरपंच, खलीफे की बावड़ी
मोटर खराब, जल्दी करेंगे सही
गांव में गंभीर पेयजल संकट की स्थिति है। एक माह से ट्यूबवेल बंद है। अधिकारियों को कहने पर भी संतोषजनक जवाब नहीं देते। परेशान हो गए हैं। रोशन खां खलीफा, पूर्व सरपंच, खलीफे की बावड़ी
मोटर खराब, जल्दी करेंगे सही
मठाराणी में मोटर खराब होने से पानी की आपूर्ति बंद है। हमारे पास कार्मिक नहीं होने से दिक्कत आ रही है। मोटर दुरुस्त करने को दे दी है, जल्दी ही जलापूर्ति आरम्भ कर देंगे।
रमेश कुमार, कनिष्ठ अभियंता, जलदाय विभाग गडरारोड
रमेश कुमार, कनिष्ठ अभियंता, जलदाय विभाग गडरारोड