जिले में जातिगत आरक्षण का विरोध करते हुए आरक्षण मुक्त भारत के बैनर तले अनेकों युवकों और गणमान्य नागरिकों ने एक शान्ति यात्रा निकाली। मुख्यालय स्थित रामलीला मैदान से मेजर चौराहा,चौक बाजार होते हुए वीर विनय चौक पहुंची शान्ति यात्रा विशाल जुलूस में परिवर्तित हो गया ।आरक्षण विरोधी स्लोगन लिखे तख्तियां लेकर मुख्य चौराहे पर पहुचे प्रदर्शनकारिओ ने आरक्षण विरोधी नारे भी लगाए । व्यापारियों ने जातिगत आरक्षण के विरोध में भारत बन्द का समर्थन करते हुए अधिक्तम दुकानें बंद रखी और कुछ गिनी- चुनी दुकानें जो खुली थी उन्होंने जनसमूह के निवेदन पर अपनी दुकानें बंद कर समर्थन किया। वीर विनय चौक पर एक सभा का आयोजन करते प्रमुख लोगों ने अपने विचार व्यक्त करते हुए नगर कोतवाल को मांग पत्र सौंपा।
इस सभा में सौरभ त्रिपाठी ने कहा कि जिस प्रकार गांवों में उच्च वर्ग और निम्न वर्ग के राशन कार्ड बिना जातिगत भेदभाव के बनते हैं वैसे ही आरक्षण में भी सिर्फ गरीबों को लाभ मिलना चाहिए। पूर्व विधायक अशफाक अहमद ने कहा कि आरक्षण वह दीमक है जो पूरे देश को खोखला कर देगा, डाॅ तुलसीश ने कहा कि जातिगत आरक्षण व्यवस्था समाज में भेदभाव को बढ़ावा दे रही है समाज में प्रेम – सौहार्द कायम करने के लिए आरक्षण का आधार आर्थिक होना चाहिए, जिससे प्रत्येक गरीब को निष्पक्ष रूप से लाभ मिले। कार्यक्रम के आयोजक संजय कुमार ने कहा कि प्रतिभाओं के सम्मान एवं गरीबों के साथ न्याय के लिए जातिगत आरक्षण को समाप्त करने की आवश्यकता है। हरिवंश सिंह एडवोकेट, डॉ प्रतीक, डॉ राकेश चन्द्रा, अम्बरीष शुक्ल, गौरव सिंह, शुभेन्द कुमार, निशान्त चौहान व स्वामी नाथ सोनकर ने जातिगत आरक्षण के विरोध में अपने विचार व्यक्त किए। इस भारत बन्द कार्यक्रम के शान्ति यात्रा में मोनू दुबे, अशोक आर्य, अजीत कुमार, सत्य देव प्रधान, विश्वनाथ प्रधान, धर्मेश दुबे, विपिन कुमार, आजाद तिवारी, राजा शुक्ल, राजीव सोनी, प्रफुल्ल मणि, राहुल मिश्रा आदि सैकड़ों समर्थक मौजूद रहे।