अधिकारियों ने पांच दिनों के अंदर समस्या का समाधान करने का ठोस आश्वासन दिया, तब कहीं जाकर ग्रामीण माने तथा करीब दो घंटे की जद्दोजहद के बाद जाम हटवाकर एमपीटी जाने का रास्ता बहाल किया।
कंपनी की ओर से निर्माण कार्यों के दौरान पेयजल पाइप लाइन क्षतिग्रस्त कर दी गई, लेकिन लम्बे समय से इसे दुरुस्त नहीं किया जा रहा। इस कारण दो दर्जन से ज्यादा ढाणियों में लम्बे से समय से पेयजल संकट है। इस कारण बुधवार को ग्रामीण आक्रोशित हो गए।
विरोध-प्रदर्शन के दौरान ग्रामीणों ने एमपीटी से आए दिन निकलने वाले केमिकलयुक्त पानी की खेतों में निकासी का विरोध करते हुए इसे तत्काल रोकने की मांग की। ग्रामीणों का आरोप है कि एमपीटी के सहारे ओबी कैम्प की तरफ बाहर कच्चे में जाने वाले सिविल रास्ते की तरफ एमपीटी के अंदर से केमिकल व लवणीय गंदे पानी की निकासी होती है। इस कारण एमपीटी के सहारे किसानों के खेतों में गंदा पानी प्रवेश करता है। इससे उनके खेतों को नुकसान हो रहा है। ग्रामीणों ने कंपनी के अधिकारियों को समस्याएं बताई।