समर्थन मूल्य केंद्रों पर अनाज बेचने के लिए शासन की बदली हुई व्यवस्थाएं किसानों की परेशानी बनी हुई है। इसलिए पंजीयन की अंतिम तिथि 10 मार्च कर दी गई है।
65 प्रतिशत कम हुआ पंजीयन
जिले में समर्थन मूल्य पर गेहूं खरीदी के लिए पांच फरवरी से पंजीयन शुरू हुआ था। अब तक 28 दिनों में गत वर्ष के मुकाबले पंजीयन का आंकड़ा 65 फीसदी कम दर्ज हुआ है। वैसे इस बार शासन ने समर्थन मूल्य 2015 रुपए क्विंटल घोषित किया है। ऐसे में किसानों का रुझान समर्थन की तुलना बाजार में विक्रय की ओर नजर आ रहा है।
65 प्रतिशत कम हुआ पंजीयन
जिले में समर्थन मूल्य पर गेहूं खरीदी के लिए पांच फरवरी से पंजीयन शुरू हुआ था। अब तक 28 दिनों में गत वर्ष के मुकाबले पंजीयन का आंकड़ा 65 फीसदी कम दर्ज हुआ है। वैसे इस बार शासन ने समर्थन मूल्य 2015 रुपए क्विंटल घोषित किया है। ऐसे में किसानों का रुझान समर्थन की तुलना बाजार में विक्रय की ओर नजर आ रहा है।
यह भी पढ़ें : फिर बदलेगा मौसम, बंगाल की खाड़ी में बने दबाव से होगी बारिश जानकारी के अनुसार समर्थन मूल्य पर गेहूं की 2015 रुपए और चना 5230 रुपए प्रति क्ंिवटल में खरीदी होना है, जिले में पिछले वर्ष गेहूं विक्रय के लिए 10 हजार 999 किसानों ने पंजीयन कराया था, जबकि इस बार 28 दिनों में सिर्फ 3893 ( 35 फीसदी) किसानों ने ही पंजीयन करवाया है। वहीं चना विक्रय के लिए 1234 किसानों का पंजीयन हुआ है। जबकि पिछले वर्ष गेहूं-चना दोनों के विक्रय को लेकर कुल 11 हजार 817 किसानों ने पंजीयन करवाया था। जबकि इस बार शुक्रवार तक पंजीयन की स्थिति चार हजार 329 पहुंची है। वैसे जिले में इस वर्ष एक लाख 15 हजार 973 हेक्टेयर में गेहूं की बोवनी हुई है। जबकि गत वर्ष 82 हजार 883 हेक्टेयर में हुई थी।