क्षेत्र में बहुत से किसानों ने मई माह में हुई पहली बारिश के दौरान ही बाजरे की बुवाई कर दी थी। जिससे बाजरे की फसल बड़ी होने से हवा के साथ आई तेज बारिश से खेतों में आडी गिर गई। खेतों में पानी भरा होने से किसानों को चिंता बढ़ गई है। चिमनपुरा के करणी सागर निवासी अनीष यादव, रामावतार यादव सहित कई लोगों ने बताया कि उनके खेतों में लहलहा रही बाजरे की फसल तेज बारिश से खेतों में आडी गिर गई।
इधर, गौतम नगर, अमरसरवाटी के राडावास, जगतपुरा और सीकर जिले में आने वाले किशोरपुरा क्षेत्र में भी कुछ स्थानों पर बाजरे की अगेती फसल गिर गई। लगातार बारिश हुई तो हो सकती है फसल खराब
उल्लेखनीय है कि क्षेत्र में कई किसानों ने मई माह में हुई पहली बारिश के दौरान ही बाजरे की बुवाई कर दी थी। जिससे कई जगह बाजरे की फसल करीब ढाई माह की हो गई। पौधे बड़े होने से हाल ही हुई तेज बारिश व हवा से फसल खेतों आडी गिर गई। राडावास निवासी शिवराज, विनय, रामपुरा के ताराचंद आदि ने बताया कि हालांकि अभी तक फसल में नुकसान नही हुआ है, लेकिन बारिश दो तीन दिन लगातार हुई तो खेतों में पानी भरने से फसल खराब हो सकती है। इससे चिंता बनी हुई है।
उल्लेखनीय है कि क्षेत्र में कई किसानों ने मई माह में हुई पहली बारिश के दौरान ही बाजरे की बुवाई कर दी थी। जिससे कई जगह बाजरे की फसल करीब ढाई माह की हो गई। पौधे बड़े होने से हाल ही हुई तेज बारिश व हवा से फसल खेतों आडी गिर गई। राडावास निवासी शिवराज, विनय, रामपुरा के ताराचंद आदि ने बताया कि हालांकि अभी तक फसल में नुकसान नही हुआ है, लेकिन बारिश दो तीन दिन लगातार हुई तो खेतों में पानी भरने से फसल खराब हो सकती है। इससे चिंता बनी हुई है।
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बारिश से इलाके में कहीं भी नुकसान नहीं हुआ है। जिन किसानों ने मई माह में पहली बारिश में ही फसल की बुवाई कर दी। उनके पौधे बड़े होने से आडे गिरे हैं। जिसमें भी अभी नुकसान नहीं है। —–सरदारमल याादव, सहायक कृषि निदेशक, कृषि विभाग, शाहपुरा
बारिश से इलाके में कहीं भी नुकसान नहीं हुआ है। जिन किसानों ने मई माह में पहली बारिश में ही फसल की बुवाई कर दी। उनके पौधे बड़े होने से आडे गिरे हैं। जिसमें भी अभी नुकसान नहीं है। —–सरदारमल याादव, सहायक कृषि निदेशक, कृषि विभाग, शाहपुरा