यह एक अच्छी पहल….
अतिरिक्त पुलिस कमिश्नर अशोक गुप्ता ने बताया कि यह एक अच्छी पहल है। वाहन चालक जो भी यहां गुजरेगा वह चैंबर से पूरी तरह सेनेटाइज होकर निकलेगा। इस प्रक्रिया में महज पांच सैकेंड लगेंगे। इस सेनेटाइजर का निर्माण बगरू थानाधिकारी बृजभूषण अग्रवाल के निर्देशन में तीन दिन में इसे तैयार किया गया है। थानाधिकारी ब्रजभूषण अग्रवाल ने बताया कि तुर्की में एक ऐसा ही व्हीकल सेनेटाइजर तैयार किया गया है। जिसका वीडियो देखने के बाद उन्होंने बगरू पुलिस मित्र संस्था से चर्चा की और संस्था के लोगों ने महज तीन दिन में इसे तैयार कर दिया।
कैसे करेगा काम…
ये एक लोहे का केबिन है। इसमें दुपहिया वाहन चालक होकर निकलेगा तो उसे पांच सैकेंड तक केबिन में रुकना होगा। केबिन के बाहर पुलिस मित्र स्विच दबाएगा और यह प्रेशर पंप से निकलने वाले सेनेटाइजर से वाहन चालक को स्पे्र करेगा। यह पांच सैकेंड के बाद बंद हो जाएगा और वाहन व चालक दोनों सेनेटाइज हो जाएंगे।
72 घंटे में किया तैयार, सेनेटाइजर होगा होम्यापैथिक…
पुलिस मित्र अहसान लुहार ने बताया कि इसे बनाने में तीन दिन लगे हैं। रात को दो-दो बजे तक काम किया है। लॉकडाउन की वजह से सामान नहीं मिल पाया लेकिन फिर भी जुगाड़ कर इसे तैयार कर दिया गया है। इसमें करीब 20 हजार रुपए तक की लागत आई है। पुलिस मित्र अब्दुल हमीद, रंगरेज, जाकिर हुसैन, कमरुद्दीन लुहार, शकील पेंटर, सुरेश कुमावत ने इसे तैयार किया है। सेनेटाइजर भी होम्योपैथी (homoeopathic Sanitizer) का होगा जिससे चालक को जलन का भी अहसास नहीं होगा।