एपीएन पीजी कालेज के पूर्व छात्रसंघ महामंत्री शीतला सिंह का आरोप है कि वो तिराहे पर स्थित एक दुकान पर बैठकर चाय पी रहे थे। इसी बीच पहले से ही नजर रखे आलोक पांडेय और उससे आधा दर्जन से अधिक साथी वहां पहुंच गये। भरे बाजार में उसे बुरी तरह से पीटकर लोग फरार हो गये। मौके पर पहुंची पुलिस शीतला को लेकर कोतवाली पहुंची। वहां उनकी हालत बिगड़ती देख साथियों ने निजी साधन से उन्हे जिला अस्पताल में भर्ती कराया। घटना की सूचना सीओ सिटी आलोक सिंह, कोतवाल एमपी चतुर्वेदी सहित बड़ी संख्या में पुलिस कर्मी जिला अस्पताल पहुंच गए।
तहरीर के बाद पुलिस ने शुरू की कार्रवाई इलाज के बीच ही पुलिस की टीम शीतला सिंह के पास पहुंचकर उनसे मुलाकात किया। पुलिस को दिये लिखित तहरीर में शिवहर्ष किसान पीजी कालेज के पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष आलोक पांडेय, कृष्ण कुमार पांडेय, विजय कुमार पांडेय और सौरभ कुमार पांडेय पर मारने पीटने का आरोप लगाया गया है। पुलिस ने तहरीर के आधार पर मुकदमा दर्ज कर लिया है। शीतला सिंह की तरफ से बढ़ते दबाव के बाद पुलिस ने आरोपी आलोक पांडेय को गिरफ्तार तो किया लेकिन भाजपा नेताओं की सक्रियता के बाद आलोक को जमानत दे दी गई।
क्या कहती है पुलिस पत्रिका से बातचीत में । एएसपी पंकज पांडेय ने बताया कि ये विवाद दुकान की जमीन को लेकर हुआ है। पुलिस की मानें तो कुछ दिन पहले शीतला सिंह के चचेरे भाई ने दुकान की जमीन को लेकर चल रहे विवाद में आलोक पांडेय के परिवार के लोगों पर हमला कर दिया था। जिसके बाद से ही वो लोग शीतला के पक्ष के लोगों पर हमला करने के लिए मौका खोज रहे थे। मंगलवार को मौका मिलते ही एक बार फिर दोनों का विवाद छिड़ गया है।
कौन हैं भाजपा नेता आलोक पांडेय जिस भाजपा नेता पर मारपीट का आरोप लगा है वो आलोक पांडेय भाजपा के सांसद हरीश द्विवेदी के बेहद करीबी बताये जाते हैं। साथ ही युवा मोर्चा के पदाधिकारी है। चर्चा तो ये भी है कि आने वाले समय में सांसद का इसी तरह से सहयोग रहा तो इन्हे युवा मोर्चा का जिलाध्यक्ष भी बनाया जा सकता है। हालांकि कि इस मसले में सांसद की कितनी भूमिका है ये तो कोई नहीं कह सकता। लेकिन आलोक को पुलिस द्दवारा तुरंत थाने से छोड़ देने की चर्चा राजनीतिक गलियारे में खूब की जा रही है।