एसडीएम वर्मा ने 14 फरवरी को त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव की प्रकिया के दौरान जिला पंचायत अध्यक्ष व उपाध्यक्ष निर्वाचन के समय निर्वाचन अधिकारी के तौर पर बताए गए नियमों का उल्लंघन करते हुए भाजपा नेताओं के साथ अभद्र टिप्पणी व हाथापाई की थी। भाजपा कार्यकर्ताओं ने आरोप लगाया है कि यह सिविल सेवा आचरण संहिता के नियमों के विपरीत किया आचरण है। इस पर कार्रवाई की जानी चाहिए।
प्रदर्शन करने पैदल मार्च कर पहुंचे
मंगलवार को भाजपा के प्रमुख पदाधिकारी व कार्यकर्ताओं ने बैठक की। जिसमें जिला पंचायत परिसर में 14 फरवरी को पार्टी के वरिष्ठ नेता अशोक शर्माव जिला पंचायत उपाध्यक्ष रहे दिलीप सिंह ठाकुर के साथ अधिकारी वर्मा द्वारा आमजन के सामने किए गए बर्ताव की निंदा की गई। जिसके बाद सभी जिला कार्यालय से पदयात्रा कर कंपोजिट बिल्डिंग पहुंचे। सुरक्षा की दृष्टि से गेट बंद किया गया। पुलिस जवानों को तैनात किया गया। इस बीच सभी ने शांतिपूर्ण तरीके से ज्ञापन सौंपने की बात कही। जिसे अनसुना कर दिया गया।
डिप्टी कलेक्टर ज्योति सिंग पहुंची जिसे ज्ञापन देने से भाजपाइयों ने इनकार कर दिया। फिर कलेक्टर शिव अनंत तायल के पहुंचने के बाद प्रतिनिधि मंडल द्वारा ज्ञापन सौंपा गया। इस बीच घंटेभर तक कार्रवाई की मांग को लेकर नारेबाजी की गई। इस दौरान जिला अध्यक्ष ओमप्रकाश जोशी, पूर्व विधायक अवधेश चंदेल, पूर्व अध्यक्ष राजेन्द्र शर्मा, संध्या परगनिहा आदि मौजूद थे।