पांच साल के लिए रखरखाव के लिए मिलेगी आर्थिक सहायता । निर्माण के लिए २० लाख की राशि देने के साथ ही अगले पांच वर्षो तक रखरखाव के लिए १० लाख की राशि
बैतूल। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग द्वारा चलाई जाने वाली साइंस एक्सप्रेस की तर्ज पर जिले में उत्कृष्ट स्कूल में अटल टिंकरिंग लैब का निर्माण होगा। लेैब का निर्माण नीति आयोग के तहत किया गया है। निर्माण के लिए २० लाख की राशि देने के साथ ही अगले पांच वर्षो तक रखरखाव के लिए १० लाख की राशि भी प्रदान की जाएगी। देश में १३०० स्कूलों में अटल टिंकरिंग लैब का निर्माण किया जाना है, जिसमें से जिले का एक मात्र स्कूल का चयन हुआ है। स्कूल में लैब का निर्माण हो जाने से विज्ञान, प्रौद्योगिकी, इंजीनियरिंग और गणित की अवधारणाओं को समझने के लिए छात्रों को एक ही स्थान पर उपकरण मिल सकेगें। इस उपकरणों की सहायता से छात्र अपने मनपसंद विषय में पकड़ बना सकेगें।
इसका मुख्य उदे्श्य
इन लैब को बनाने के पीछे सरकार का उद्देश्य युवाओं के दिमाग में जिज्ञासा, रचनात्मकता और कल्पना को बढ़ावा देना है। इसके साथ ही डिजाइन मानसिकता, कम्यूनिकेशन, सोच, अनुकूली शिक्षा, भौतिक कम्प्यूटररिंग आदि कौशल विकसित किया जाना है।
अटल टिंकरिंग लैब विशेषताएं
लेैब में छात्र अपने विचारों से स्वयं ही नए अविष्कार कर सकते है। विज्ञान, प्रौद्योगिकी, इंजीनियरिंग और गणित की अवधारणाओं को समझने के लिए उपकरण और उपकरण के साथ
काम करने का मौका मिलेगा। विज्ञान, इलेक्ट्रॉनिक्स, रोबोटिक्स, ओपन सोर्स माइक्रोकंट्रोलर बोर्ड, सेंसर और 3 डी प्रिंटर और कम्प्यूटर पर किट्स और उपकरण शामिल होंगे। इसके साथ ही लैब में अन्य सुविधाओं में मीटिंग रूम और वीडियो कॉन्फ्रेसिंग सुविधा शामिल रहेगी।
तीन वर्षो के रिजल्ट के आधार पर चयन
इस योजना के तहत सरकारी, स्थानीय निकाय से संचालित स्कूल या फिर प्रायवेट स्कूल जहा पर कक्षा ६ वीं से 12वीं तक के स्कूल अपने यहां लैब स्थापित करने के लिए आवेदन कर सकेंगे। खास बात यह है कि अटल लैब स्थापित करने में उन्हीं स्कूलों को वरियता दी जाएगी, जिनके छात्रों और शिक्षकों की हाजिरी पिछले तीन वर्षों में 75 प्रतिशत से अधिक है। साथ ही बोर्ड परीक्षाओं बीते तीन वर्षों के रिजल्ट के आधार पर उसका चयन होता है।
इनका कहना
जिले के स्कूलों द्वारा अटल टिंकरिंग लैब के लिए पंजीयन पिछले तीन वर्षो से कराए जा रहे थे। पहली बार जिले में किसी स्कूल का चयन अटल टिंकरिंग लैब के लिए हुआ है। जिले के लिए एक बड़ी सौगात है।
-बीएस बिसौरिया, जिला शिक्षा अधिकारी बैतूल।