तवा डेम इटारसी पर मंडरा रहा खतरा- महज आठ माह में 2975 एकड़ क्षेत्रफल में फैले सतपुड़ा जलाशय को चाइनिज झालर और जलकुंभी ने अपने आगोश में ले लिया। इसी से अंदाजा लगा सकते हैं कि कितनी तेजी से यह खरपतवार फैलती है। बारिश के दिनों में डेम के गेट खुलने पर यह खरपतवार बहकर तवा डेम इटारसी पहुंचेगी। इसके अलावा नदियों में भी इसका प्रभाव देखा जा सकेगा। गौरतलब है कि तवा डेम इटारसी में देनवा और तवा नदी का पानी पहुंचता है। इसी के साथ जलीय खरपतवार भी डेम में पहुंचने से इंकार नहीं किया जा सकता। बताया जा रहा है कि वर्ष 2017-18 में तवा डेम इटारसी के गेट नहीं खुले। इस वजह से डेम में टापू दिखाई देने लगे हैं। लेकिन खरपतवार नहीं है।