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भरतपुर

अपह्रत पूर्व सरपंच को पुलिस ने किया दस्तयाब, सड़क पर छोड़ गए आरोपी

दो दिन पहले अपहरण हुए सीकरी थाना क्षेत्र के गांव सिंहावली के पूर्व सरपंच आविद को आखिरकार पुलिस ने सोमवार रात दस्तयाब कर लिया।

भरतपुरSep 21, 2020 / 10:08 pm

rohit sharma

अपह्रत पूर्व सरपंच को पुलिस ने किया दस्तयाब, सड़क पर छोड़ गए आरोपी

अपह्रत पूर्व सरपंच को पुलिस ने किया दस्तयाब, सड़क पर छोड़ गए आरोपी

भरतपुर. दो दिन पहले अपहरण हुए सीकरी थाना क्षेत्र के गांव सिंहावली के पूर्व सरपंच आविद को आखिरकार पुलिस ने सोमवार रात दस्तयाब कर लिया। पुलिस उसे रात करीब नौ बजे सीकरी थाने लेकर पहुंची। सूत्रों के अनुसार आविद को परिजनों के बताए जा रहे स्थान सहसन से ही दस्तयाब किया है। हालांकि, पुलिस इस मामले में अभी ज्यादा बोलने से कतरा रही है। इससे पहले दूसरे दिन भी पूर्व सरपंच के परिजन व ग्रामीणों ने पुलिस थाने के गेट पर धरना देकर थाने का घेराव करने की चेतावनी दी थी। गौरतलब रहे कि पुलिस आपसी रिश्तेदारी में हुए विवाद के चलते उसे ले जाना बता रही थी। जबकि परिजन इसको पंचायत चुनाव में नामांकन दाखिल नहीं हो, इसकी वजह से अपहरण करने का आरोप लगाया है। मामले में रिपोर्ट भी दर्ज कराई गई थी।
गौरतलब है कि 19 सितंबर की रात करीब आठ बजे गांव किशनपुरा से प्रचार कर लौट रहे गांव सिंहावली निवासी पूर्व सरपंच आविद खान का कुछ हथियार बन्द लोग अपहरण कर ले गए थे। एएसपी डीग बुगलाल मीणा ने बताया कि सर्किल पुलिस जाब्ते के साथ गांव सहसन में दबिश दी। जिस पर आरोपी उसे सड़क पर छोड़कर भाग गए। पूर्व सरपंच आविद ने आरोप लगाया कि हाकम, लियाकत, परवेज, वकील निवासी छज्जूखेड़ा उसे पकड़ कर गांव सहसन के जंगल में ले गए थे। वहां उसे रखा गया था। वहीं, पुलिस उसका मेडिकल कराने अस्पताल लेकर गई है। आरोपियों द्वारा मारपीट करने से उसके चोट आई है। वहीं, इससे पहले सुबह पूर्व सरपंच के परिजनों ने बताया कि पुलिस अभी तक पूर्व सरपंच आविद का पता नहीं लगा सकी है। उन्होंने आरोप लगाया कि पुलिस अपहरण के आरोपियों को गिरफ्तार भी नहीं कर रही है। पुलिस जानबूझकर मामले को पारिवारिक झगड़े का रंग देने की कोशिश कर रही है। ग्रामीणों ने बताया कि पूर्व सरपंच के अपहरण के बाद ग्रामीणों में पुलिस के खिलाफ रोष व्याप्त है। जबकि मामले से पुलिस उच्चाधिकारियों को भी अवगत करा दिया गया है। उसके बाद भी कोई कार्रवाई नहीं हुई। पूर्व सरपंच के भाई जमशेद ने आरोप लगाते हुए कहा कि जब उसके भाई का अपहरण हुआ था तो पुलिस को सूचना दी गई। लेकिन पुलिस ने मौके तक पहुंचने में घण्टों लगा दिए। जानकारी लेने के बाद पुलिस ने मामले को गम्भीरता से नहीं लिया। परिजन खुर्शीद ने बताया कि पुलिस अपहरण के मामले को पारिवारिक झगड़े का रंग देना चाहती है। जबकि उनका कोई भी पारिवारिक झगड़ा नहीं है।
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