पुलिस प्रशासन की इस मामले में सुस्ती को देखते हुए मजबूरी में आंदोलन करने लोग सड़क पर आए हैं। उन्होंने बताया कि टाउनशिप में एक ही परिवार के चार लोगों की आत्महत्या के मामले में 6 वर्ष में बीत जाने के बाद भी नामजद लोगों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हुई है। इस संबंध में शिकायत तात्कालीन गृह मंत्री से तक की गई।
पुलिस ने इस मामले में अब तक कोई कार्रवाई नहीं की है। इस मामले को भिलाई नगर व्यापारी एसोसिएशन ने फिर से उठाया है। एसोसिएशन के अध्यक्ष ने बताया कि 12 अप्रैल 2011 को सेक्टर-2 में रहने वाले मां व तीन बहनों ने आत्महत्या कर ली थी। जिसकी पुलिस विवेचना अभी तक पूरी नहीं हुई है। आत्महत्या के दौरान मिले सुसाइडल नोट में भी बीएसपी के अधिकारियों का उल्लेख था।
पे्रमनाथ ने बताया कि इस संबंध में कलेक्टोरेट से लेकर गृहमंत्री तक सभी को पत्र लिखा गया। छत्तीसगढ़ के तात्कालीन गृहमंत्री ने कार्रवाई के निर्देश भी दिए, इसके बाद भी अब तक पुलिस इस मसले पर हरकत में नहीं आई है।उन्होंने आशंका व्यक्त की कि कुछ लोगों को बचाने का प्रयास किया जा रहा है, अगर कार्रवाई होगी तो कईलोग जद में आएंगे।
हर बार दे रहे हैं समय
प्रेमनाथ ने बताया कि इस संबंध में एक बार फिर से कलक्टर को ज्ञापन देकर 30 अक्टूबर २०१७ तक कार्रवाई की मांग की थी, लेकिन यहां भी निराशा ही मिली। तब १४ नवंबर २०१७ तक कार्रवाई करने का समय दिए। इसके बाद भी पुलिस ने कार्रवाई नहीं किया। एसोसिएशन ने इसके बाद बुधवार को एक दिवसीय धरना प्रदर्शन करने का फैसला किया।
प्रदर्शन में छत्तीसगढ़ जनता कांग्रेस के जिला अध्यक्ष
जहीर खान , श्रमिक नेता कलादास डेहरिया, आवास अधिकार संघ से के नारायण राव, के डेनियल, दीपक अतुल शर्मा, पीआर वर्मा, एचएमएस के महासचिव एचएस मिश्रा, युवक कांग्रेस से अंकुश पिल्ले, लीज संघर्ष समिति, भिलाई, छत्तीसगढ़ स्वाभिमान मंच से एस त्रिपाठी मौजूद थे।