scriptBhilai खुर्सीपार में जिनको मिला था पट्टा, अब उनको मिलने लगा पीएम आवास योजना का लाभ | Got lease in Khursipar, now getting the benefit of PM housing | Patrika News

Bhilai खुर्सीपार में जिनको मिला था पट्टा, अब उनको मिलने लगा पीएम आवास योजना का लाभ

locationभिलाईPublished: Nov 23, 2021 10:50:34 pm

Submitted by:

Abdul Salam

राज्य के बाद केंद्र की योजना का लगा ठप्पा.

Bhilai खुर्सीपार में जिनको मिला था पट्टा, अब उनको मिलने लगा पीएम आवास योजना का लाभ

Bhilai खुर्सीपार में जिनको मिला था पट्टा, अब उनको मिलने लगा पीएम आवास योजना का लाभ

भिलाई. इंदिरा गांधी, आदर्श नगर, न्यू खुर्सीपार में रहने वाले सौ सेे अधिक लोगों को 1998 में जिस वक्त मध्यप्रदेश में दिग्विजय सिंह मुख्यमंत्री थे, तब राजीव आश्रय योजना के तहत पट्टा वितरण किया गया था। अब उन परिवारों को प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) के तहत राशि भी मिलने लगी है। वे पक्का मकान बनाने लगे हैं। इस जमीन को भी कभी बीएसपी और कभी इरिगेशन विभाग का हिस्सा बताया जा रहा था। अब लोगों के लिए यह अपना आशियाना हो गया है। इसी तरह से अब बाबा बालकनाथ मंदिर के करीब रहने वालों को भी पट्टा इस योजना के तहत ही दिया गया है।

बीएसपी ने भी मौन रहकर दी है स्वीकृति
शासन ने दशकों से बसे लोगों को पट्टा देकर एक राहत दे दिया है। अब वे वहां बिना डर के रह सकते हैं। बीएसपी ने इस पूरे मामले में सांसद की आपत्ती के बाद भी मौन रहकर साफ कर दिया है कि उक्त जमीन से उसका नाता नहीं है। बीएसपी की जमीन पर लगातार कब्जे हो रहे हैं, उस पर न तो बीएसपी बोर्ड लगा रही है और न रोकने पहल कर रही है। तब पांच दशक से जहां लोग रह रहे हैं उस जमीन पर किस तरह विभाग अपना अधिकार जता सकता है।

चुनौती बढ़ रही प्रशासन की
शहर में मौजूद पहले के कब्जे और अब हो रहे नए कब्जे धारक भी उम्मीद कर रहे हैं कि आज नहीं तो कल जिला प्रशासन की मेहरबानी वाली नजर उन पर पड़ेगी। इसके बाद उनके कब्जे को भी पट्टे की शक्ल में वैद्यता मिल जाएगी। यह मुश्किल नहीं है, क्योंकि यह अलग-अलग समय में किया जा रहा है। चुनौती थोड़ी से जिला प्रशासन की बढ़ रही है, उनको ही पट्टा तैयार करवाना है।

जमीन है शासन की
नगर पालिक निगम, भिलाई के अफसरों का कहना है कि जमीन असल में राज्य सरकार की है। बीएसपी को उद्योग लगाने व अन्य प्रयोजन के लिए दी गई थी। इसके बाद धीरे-धीरे जो जमीन उनके उपयोग की नहीं है, उसे साडा और निगम को लौटाने का काम किया जा रहा है। स्टेडियम के बाजू में भूमि पूजन किया गया था, लेकिन वहां बीएसपी का फ्लाइ ओवर का प्रोजेक्ट है। इस वजह से राज्य सरकार ने अपने प्रपोजल को वापस ले लिया। अब जो जमीन खाली है या लोग बस गए हैं। वहां बीएसपी की कोई योजना नहीं है, तब उस जमीन में रहने वालों को पट्टा दिया जाता है तो वह किस तरह से गलत है।

राज्य के बाद केंद्र की योजना का लगा ठप्पा
इंदिरा नगर में जिन आवासों को पट्टा तीस साल के लिए दिया गया था। उनके पट्टे का नवीनीकरण 2028 में होना है। उसके पहले वे पीएम आवास योजना का लाभ उठा रहे हैं। इस तरह से राज्य के बाद उनके मकानों पर केंद्र की योजना का भी ठप्पा लग गया है। इस तरह से इन परिवारों को इससे बड़ा लाभ मिला है।

नहीं हुआ कोई नुकसान
जमीन चाहे शासन की हो या बीएसपी की, जब भी पट्टा मिला है, उसका लाभ ही हितग्राहियों को हुआ है। पिछले पांच दशक के दौरान पट्टा वितरण पर नजर डालें तो जिनको पट्टा मिला है। उनको किसी ने बेदखल नहीं किया। इसके साथ-साथ शासन की योजना का लाभ भी उन तक पहुंची है। बिजली, पानी, सड़क की सुविधा पहले ही दी जा चुकी है।

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो