स्वास्थ्य मंत्री ने दौरे की शुरूआत खुर्सीपार प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र से की। यहां बड़ी संख्या में लोगों की भीड़ डेंगू जांच के लिए पहुंची थी। ऐसे में मंत्री को देख लोगों का गुस्सा फूट पड़ा। जांच के लिए आए लोगों ने मंत्री से श्किायत करते हुए कहा कि जांच तो तुरंत हो जा रहा है लेकिन रिपोर्ट दो दिन बाद मिल रहा है। ऐसे में डेंगू मरीज बिना रिपोर्ट के ही मर जाएगा। मंत्री ने आश्वासन देते हुए कलेक्टर और अन्य अधिकारियों को व्यवस्था सुधारने के निर्देश दिए।
डेंगू प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करते हुए फील्ड में काम करने वाली नर्सों से मंत्री ने सवाल जवाब किया। उन्होंने नर्सों से पूछा कि किस तरह वे काम करती है। क्या दिक्कत हो रही। जिस पर नर्सों ने उन्हें पूरे कार्य प्रणाली से अवगत कराया। स्वास्थ्य मंत्री के साथ उच्च शिक्षा एवं राजस्व मंत्री प्रेमप्रकाश पांडेय, स्वास्थ्य सचिव निहारिक बारिक, स्वास्थ्य संचालक आर प्रसन्ना, कलेक्टर उमेश अग्रवाल, निगम कमिश्नर केएल चौहान सहित सभी विभाग के अधिकारी और कर्मचारी मौजूद थे।
डेंगू प्रभावित क्षेत्रों का दौरान करने के बाद स्वास्थ्य मंत्री अजय चंद्राकर सीधे जिले के सबसे बड़े अस्पताल सेक्टर ९ का जायजा लेने के लिए पहुंचे हैं। यहां उन्होंने डॉक्टरों और डेंगू पीडि़तों से मुलाकात की। बता दे कि भिलाई में अब तक डेंगू से ३४ लोगों की मौत हो गई है। वहीं दस हजार से ज्यादा लोग डेंगू से प्रभावित हैं।
३४ मौतों के बाद भिलाई पहुंचे स्वास्थ्य मंत्री को युवा कांग्रेसियों ने काला झंडा दिखाया। एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं ने विरोध करते हुए स्वास्थ्य मंत्री वापस जाओ के नारे लगाए। प्रदर्शन उग्र होता देख पुलिस ने एक दर्जन से ज्यादा कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया। जिला मुख्यालय में भी कांग्रेसी मंत्री के दौरे का विरोध कर रहे हैं।