छावनी पुलिस को ४ नवंबर २०१३ को सूचना मिली कि शारदा पारा स्थित तालाब में शव है। मृतक का चप्पल तालाब किनारे रखा हुआ वहीं शव पानी में तैर रहा है। घटना स्थल पर पुलिस पहुंची तो खुलासा हुआ कि शव अनिल सिंह का है। घटना स्थल पर मृतक के भाई मौजूद थे। पुलिस ने शव का पंचनामा कार्यवाही कर पीडि़त परिवार व आसपास के लोगों को बयान लिया। घटना सुबह ९.३० बजे हुई थी। मृतक के भाईयों के बयान के आधार पर पुलिस को मामले को तत्काल समझ गई और आरोपियों को उसी दिन गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने आरोपियों के पास से एक खुखरी भी जब्त किया था। जिससे हत्या की गई थी।
मृतक अनिल सिंह आदतन बदमाश था। मृतक के खिलाफ दर्जन भर अपराध छावनी में दर्ज हुआ था। वहीं आरोपी भी अपराधिक पृष्ठभूमि वाले है। दीपावली के एक दिन पहले दोनों पक्षों का आपस में विवाद हुआ था। पुलिस का कहना था कि इसी विवाद के चलते आरोपियों ने साजिश रचकर पहले अनिल को घर से बुलाया और हत्या की।
इस प्रकरण में दो आरोपी न्यायालय नहीं पहुंचे थे। आरोपी संतोष बघेल सेंट्रल जेल रायपुर में निरुद्ध है वहीं छोटू उर्फ कृष्णा दुर्ग में निरुद्ध है। दोनो के अनुपस्थित रहने पर जेल प्रशासन ने आरोपियों को वीडियों क ांफ्रेसिंग के माध्यम से उपस्थित कराया। न्यायाधीश ने गिरफ्तार चारों आरोपियों की उपस्थिति मानते हुए फैसला सुनाया।
पुलिस ने न्यायालय को बताया कि इस प्रकरण में कुल पांच आरोपी है। घटना के बाद से आरोपी विजय सरदार फरार है। न्यायाधीश ने फैसला सुनाए जाने के बाद स्थाई वारंट जारी किया है।