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भिलाई

एनएच में जान-जोखिम में डालकर Bhilai डबरा पारा के मासूम जा रहे पढऩे

वार्डवासियों को न घर मिला न बच्चों को स्कूल.

भिलाईNov 27, 2021 / 08:15 pm

Abdul Salam

एनएच में जान-जोखिम में डालकर Bhilai डबरा पारा के मासूम जा रहे पढऩे

एनएच में जान-जोखिम में डालकर Bhilai डबरा पारा के मासूम जा रहे पढऩे

भिलाई . उत्तर डबरापारा, भिलाई-तीन से हर दिन करीब एक सौ से अधिक पहली से आठंवी क्लास के छात्र-छात्राएं राष्ट्रीय राजमार्ग को क्रास कर दक्षिण डबरापारा में पढऩे के लिए सरकारी स्कूल जाते हैं। आर्थिक तौर पर कमजोर परिवार अपने कलेजे के टुकड़ों को मजबूरी में हर दिन इस खौफनाक सड़क को क्रास करने को छोड़ते हैं। बच्चों के लिए एक छोटा स्कूल अगर दूसरे हिस्से में भी शुरू हो जाए तो यह जान जोखिम डालकर हर दिन अपने मासूमों को भेजना यहां के लोग बंद कर दें।

हाईस्कूल पढऩे जाते हैं खुर्सीपार
डबरापारा वार्ड में रहने वाले सारे बच्चों को पढऩे के लिए हर समय संघर्ष करते देखा जा सकता है। पहले वे नेशनल हाइवे को पार कर बचपन को जोखिम में डालते हैं। इसके बाद मिडिल और हाईस्कूल की शिक्षा के लिए उनको खुर्सीपार तक राष्ट्रीय राजमार्ग से होकर जाना पड़ता है। इस वार्ड में बच्चों की शिक्षा को लेकर बड़ा काम नहीं किया गया है। इस बात को लेकर हर परिवार चिंतित नजर आता है।

सरकार की योजना के तहत लोगों को चाहिए अपना आशियाना
डबरापारा में करीब 100 से अधिक ऐसा परिवार रहता है जो किराए के मकानों में जीवन बिता रहा है। लोगों का कहना है कि उन्होंने कब्जा करना सही नहीं समझा। इस वजह से किराए के मकानों में जीवन बिता रहे हैं। इससे माह में जितना कमाते हैं उसका सत्तर फीसदी किराए में और बाकी खाना में चला जाता है। सरकारी योजना के तहत अगर मकान मिल जाता तो जिनता किराए में दे रहे हैं, उतना अपने मकान के नाम पर जमा कर देते। वैसे भी जो लोग सरकारी जमीन पर कब्जा कर मकान बनाते हैं, उनको खाली करवाने जब टीम जाती है तब सरकारी योजना के तहत आवास में शिफ्ट करता है। वैसे ही यहां जो लोग किराए पर रह रहे हैं, उनको भी सरकारी आवास दिलाया जाए।

गमी के वक्त जिस तालाब में जाते हैं उसकी हालत खराब
गांव में जब किसी के घर में गमी हो जाती है, तब वहां के लोग तालाब में स्नान करने जाते हैं। डबरा पारा में मौजूद तालाब में न अब तक पचरी का काम हुआ और न सौंदर्यकरण। इस तरह से तालाब को ऐसे ही छोड़ दिया गया है। इसका गहरीकरण कर तालाब को 12 माह पानी एकत्र रहने लायक बनाया जाना चाहिए।

सरकारी योजना के तहत आवास की है जरूरत

चैती निषाद, निवासी डबरापारा, भिलाई-चरोदा ने बताया कि डबरापारा में बड़ी संख्या में लोग किराए के मकानों पर रहते हैं। अगर सरकारी योजना के तहत मकान बनाकर दिया जाए तो उन सभी को लाभ मिलेगा।

तालाब का हो सौंदर्यकरण

सुरेखा, निवासी डबरापारा, भिलाई-चरोदा ने बताया कि डबरापारा वार्ड में मौजूद तालाब में गमी होने पर लोग स्नान करने जाते हैं। इस तालाब का सौंदर्यकरण किया जाना चाहिए। जिससे यहां लोगों को सुविधा मिले।

स्कूल बेहद जरूरी
मोनिका निषाद, निवासी डबरा पारा, भिलाई-चरोदा ने बताया कि डबरापारा के बच्चों को अपने मोहल्ले में सरकारी स्कूल तक नसीब नहीं हो रहा है। वे रिस्क के लेकर नेशनल हाइवे को हर दिन पार करते हैं। स्कू जरूरी है।

सड़क, नाली बेहतर करने की जरूरत
उषा ठाकुर, निवासी डबरा पारा, वार्ड-12, नगर पालिक निगम, भिलाई-चरोदा ने बताया कि सड़क और नाली की स्थिति खराब है। जीई रोड पार कर हर दिन छोटे बच्चे रिस्क लेकर स्कूल जा रहे। तालाब में नालियों का पानी भी जा रहा। पचरी नहीं लोग गिर जाते हैं।

आंगनबाड़ी दोनों ओर शुरू करवाया
तुलसी ध्रु, पार्षद, वार्ड-12, डबरा पारा, भिलाई-चरोदा ने बताया कि स्थानीय विधायक व मंत्री गुरु रुद्र कुमार से तालाब सौंदर्यकरण के लिए मांग किया है। स्कूल के लिए राज्य सरकार को लिखा जाएगा पत्र। सरकारी योजना के तहत लोगों को आवास दिलाने प्रयास किया जाएगा। आंगनबाड़ी दोनों ही ओर बनाया गया है।

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