समय पर सही निर्णय और सही मदद की वजह से लोयेश की जान बच पाई। इसघटना के बारे में किशन बताता है कि स्कूल में उसकी स्पोट्र्स टीचर की सीख उसे काम आई। अक्सर वे फस्र्ट एड के बारे में बात करती थी। जिसमें करंट लगने पर क्या करना चाहिए और कैसे मदद करनी चाहिए के बारे में भी बताया था। साथही उसने कई बार इंटरनेट परभी देखा था कि करंट लगने से क्या करना चाहिए।
पोल में बिजली कनेक्शन किया बंद
सेक्टर 4 ए मार्केट में किराए का पाठठेला चलाने वाले किशन के पिता गौरीशंकर साहू ने बताया कि 4 जुलाई की रात जब वह घर आए तो उन्हें घटना के बारे में पता चला। इससे पहले मोहल्ले के एक इलेक्ट्रीशियन ने खतरे को देखते हुए उस ग्राउंड में लगे पोल का बिजली कनेक्शन बंद कर दिया है, ताकि कोई बड़ी दुघर्टना को टाला जा सकें।
ऐसे हुई थी घटना
4 जुलाई की शाम करीब साढ़े 6 बजे किशन और लोयेश दोनों ही सेक्टर 6 डी मार्केट में बने नए स्पोट्र्स ग्राउंड के अंदर क्रिकेट खेल रहे थे।किशन ने शॉट मारा तो गेंद किनारे में लगे बिजली के पोल के पास जा गिरी। जैसे ही लोयेश बॉल लेने गया उसकी उंगलियां पोल से टकराई और वह पोल से चिपक गया। पोल में लगातार कंरट दौड़ रहा था। लोयेश करंट की वजह से दोस्त को आवाज भी नहीं दे सका,लेकिन इसी बीच किशन की नजर जैसे ही उस पर पड़ी वह हाथ से इशारा करने लगा। तभी वह बैट लेकर आया और करीब 7 से 8 बार बैट को उसके हाथ पर मारकर पोल से छुड़ाया। तब तक लोयेश बेहोशहो चुका था। किशन ने बताया कि आसपास के लोगों ने भी यह देखा पर कोई मदद को नहीं आया। जैसे ही लोयेश को उसने पोल से छुड़ाया तो उसने सभी को आवाज दी कि दोस्त को करंट लगा है तब जाकर एक भैया आए। उस बीच उसने पेट और छाती को दबाया साथ ही मुंह से सांस भी दी। तब कहीं जाकर वह होश में आया।