कुलपति के निरीक्षण के बाद से थे टेंशन में
प्रिंसिपल के घर वालों ने आरोप लगाया कि एक सप्ताह पहले कुलपति के निरीक्षण के बाद से मृतक टेंशन में थे। वहीं हेमचंद विश्वविद्यालय की कुलपति डॉ. अरूणा पल्टा ने मृत प्रिंसिपल को अव्यवस्थाओं से नाराज होकर विश्वविद्यालय तलब किया था। बतां दें कि हेमचंद यादव विश्वविद्यालय की कुलपति डॉ. अरुणा पल्टा ने एक सप्ताह पहले तीन सरकारी कॉलेजों का औचक निरीक्षण किया। इनमें शासकीय नागरिक कल्याण महाविद्यालय नंदिनी अहिवारा, जामुल और इंदिरा गांधी पीजी महाविद्यालय वैशाली नगर शामिल थे।
प्रिंसिपल के घर वालों ने आरोप लगाया कि एक सप्ताह पहले कुलपति के निरीक्षण के बाद से मृतक टेंशन में थे। वहीं हेमचंद विश्वविद्यालय की कुलपति डॉ. अरूणा पल्टा ने मृत प्रिंसिपल को अव्यवस्थाओं से नाराज होकर विश्वविद्यालय तलब किया था। बतां दें कि हेमचंद यादव विश्वविद्यालय की कुलपति डॉ. अरुणा पल्टा ने एक सप्ताह पहले तीन सरकारी कॉलेजों का औचक निरीक्षण किया। इनमें शासकीय नागरिक कल्याण महाविद्यालय नंदिनी अहिवारा, जामुल और इंदिरा गांधी पीजी महाविद्यालय वैशाली नगर शामिल थे।
नाराज हो गई थी कुलपति
नंदिनी महाविद्यालय में भारी अव्यवस्था को देखकर कुलपति ने नाराजगी व्यक्त की। कॉलेज के प्राचार्य डॉ. नायक के कक्ष में ताला देखकर जब कुलपति ने उनके विषय में महाविद्यालयीन स्टॉफ से पूछा तो उन्हें बताया गया कि प्राचार्य किसी कार्य से दुर्ग गए हैं और प्राचार्य कक्ष की चाबी उपलब्ध नहीं है।
नंदिनी महाविद्यालय में भारी अव्यवस्था को देखकर कुलपति ने नाराजगी व्यक्त की। कॉलेज के प्राचार्य डॉ. नायक के कक्ष में ताला देखकर जब कुलपति ने उनके विषय में महाविद्यालयीन स्टॉफ से पूछा तो उन्हें बताया गया कि प्राचार्य किसी कार्य से दुर्ग गए हैं और प्राचार्य कक्ष की चाबी उपलब्ध नहीं है।
नौ स्टाफ बिना जानकारी गैरहाजिर
नंदिनी महाविद्यालय के नवनिर्मित भवन परिसर में विचरण करते छात्र-छात्राओं से जब कुलपति ने स्वयं चर्चा की तो सभी विद्यार्थियों ने एक स्वर में नियमित कक्षाएं संचालित न होने की शिकायत की। महाविद्यालय के स्टॉफ में 9 अधिकारी-कर्मचारी बिना आवेदन पत्र के अनुपस्थित मिले। ये सब देखकर कुलपति ने प्राचार्य को विश्वविद्यालय में तलब किया। कुलपति ने कहा अब प्राचार्य से सीधे विश्वविद्यालय में ही बात की जाएगी।
नंदिनी महाविद्यालय के नवनिर्मित भवन परिसर में विचरण करते छात्र-छात्राओं से जब कुलपति ने स्वयं चर्चा की तो सभी विद्यार्थियों ने एक स्वर में नियमित कक्षाएं संचालित न होने की शिकायत की। महाविद्यालय के स्टॉफ में 9 अधिकारी-कर्मचारी बिना आवेदन पत्र के अनुपस्थित मिले। ये सब देखकर कुलपति ने प्राचार्य को विश्वविद्यालय में तलब किया। कुलपति ने कहा अब प्राचार्य से सीधे विश्वविद्यालय में ही बात की जाएगी।