जोन कमिश्नर को हटाने की मांग रिसाली के पार्षदों ने आयुक्त को रिसाली जोन कमिश्नर टीके रणदीवे को हटाने की मांग की। जोन से स्थानांतरित नहीं किए जाने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी। पार्षदों का कहना था कि वार्ड में शुद्ध पेयजल की सप्लाई बदहाल है। सड़क, नाली का निर्माण अधूरे पड़े हैं। अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई नहीं हो रही है। अवैध प्लाटिंग धड़ल्ले से चल रहा है। ज्ञापन सौंपने वालों में जोन अध्यक्ष भूपेश ठाकुर, चुम्म्मन देशमुख, चंद्रभान सिंह ठाकुर, गोविंद चतुर्वेदी, राजेन्द्र रजक शामिल थे।
गौरवपथ पर अंधेरा, गड्ढे में फंस रहे वाहन युवा जनता कांग्रेस के अध्यक्ष डी कृष्णा ने गौरवपथ और इंदिरा गांधी शासकीय विज्ञान महाविद्यालय वैशाली नगर से अटल आवास रोड की स्ट्रीट लाइट बंद होने की वजह से आए दिन दुर्घटना होने की जानकारी दी। स्ट्रीट लाइट बंद होने की शिकायत पिछली बार भी की थी। लाइट बंद होने की वजह से गौरवपथ के गड्ढे में वाहनों के पहिया धंसने और दुर्घटनाग्रस्त होने की जानकारी दी थी। गौरवपथ, महात्मा गांधी चौक से नेताजी सुभाषचंद्र बोस चौक पहुंच मार्ग के गड्ढों को गिट्टी और मुरम डालकर समतलीकरण की
मांग की।
अस्पतालों को दी जमीन की लीज निरस्त करने आयुक्त से की मांग निगम आयुक्त केएल चौहान से अनुबंध शर्तों का पालन नहीं करने वाले शहर के निजी अस्पतालों के जमीन आवंटन की लीज को निरस्त करने की मांग की है। प्रनाम के अध्यक्ष पवन केसवानी ने जनदर्शन में आयुक्त को ज्ञापन सौंपा। सरकार से शर्तों के साथ रियायती दर पर जमीन लेने के बावजूद अस्पताल में गरीबों का मुफ्त में इलाज नहीं करने की जानकारी दी। निजी अस्पताल की जांच कराने और लीज को निरस्त करने की कार्रवाई की मांग की। जिस पर आयुक्त ने अधीक्षण अभियंता सत्येन्द्र सिंह एवं आरके साहू को मामले की जांच कराने और अस्पताल संचालकों को नोटिस जारी करने कहा है। सौंपे ज्ञापन में केशवानी ने कहा है कि गरीबों के मुफ्त इलाज के नाम पर स्मार्ट कार्ड से पैसा वसूल कर स्पष्ट रूप से जनता और सरकार के साथ धोखाधड़ी की जा रही है।
अस्पताल संचालकों को लीज डीड की शर्तों के अनुसार ओपीडी में 25 फीसदी गरीब मरीजों को नि:शुल्क इलाज,आपातकालीन विभाग (आईपीडी) में 10 फीसदी तक मुफ्त में इलाज तथा चतुर्थ श्रेणी सरकारी कर्मचारियों की रियायती दरों पर इलाज उपलब्ध कराना था। जिसका चंदूलाल चंद्राकर स्मृति चिकित्सालय नेहरु नगर, करुणा अस्पताल नंदनी रोड, बीएम शाह हॉस्पिटल (पूर्व में छतीसगढ़ हॉस्पिटल),शास्त्री नगर एवं डॉ.के गुरुनाथ पालन नहीं कर रहे हैं।