प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार विधानसभा चुनाव के दौरान आचार संहिता का उल्लंघन करते हुए 24 अक्टूबर को चक्काजाम कर बीएसपी कर्मियों को काम पर जाने से रोके जाने पर दल्लीराजहरा पुलिस ने कार्रवाई करते हुए 10 लोगों को गिरफ्तार किया था। उसके बाद बाद उन्हें न्यायालय में पेश किया गया, जहां न्यायालय ने इनकी जमानत अर्जी खारिज करते हुए जेल भेज दिया।
@Patrika.जेल भेजने के आदेश के बाद आरोपियों के साथ दल्लीराजहरा थाने के कर्मचारी उस वक्त सुर्खियों में आ गए जब सभी सुरक्षा व्यवस्था को ताक में रखते हुए बालोद के गंगासागर तालाब के निकट एक निजी होटल में वीआइपी सुविधा देने के साथ ही भोजन कराया, जिसके उपरांत 7.30 बजे आरोपियों को जेल दाखिला कराया गया।
@Patrika.बालोद जिले के दल्लीराजहरा के पांच पुलिस कर्मियों द्वारा आरोपियों के साथ की बिरयानी पार्टी की विडियो जब सोशल मीडिया में वायरल हुई, तो पूरे मामले को लेकर तरह-तरह के कमेंट्स आने लगे, जिसमें पुलिस विभाग की इस हरकत पर लोगों ने सवाल खड़े कर दिए हैं।
@Patrika.मामले पर जब दल्लीराजहरा थाना प्रभारी मनीष परिहार से चर्चा की गई, तो उन्होंने मामले को हल्के में लेते हुए कहा कि मानवता के नाते उन्हें भोजन कराया गया होगा, लेकिन इस मामले में पता करके बताता हूं। इसकी जानकारी बालोद अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक जेआर ठाकुर को दी गई तो उन्होंने मामले की जांच कर कार्रवाई करने की बात कही।
ज्ञात हो कि न्यायालय द्वारा जेल दाखिल कराए जाने के आदेश के बाद जिस निर्भिकता पूर्वक खुलेआम पुलिस कर्मियों द्वारा आरोपियों को वीआइपी सुविधा दी गई उसको लेकर जहां पुलिस पर सवालिया निशान लगा है, तो वहीं इस बात की चर्चा आम लोगों के बीच जोरों पर है। आरोपियों को ड्यूटी में तैनात पुलिस कर्मियों ने होटल में बिरयानी मुहैया कराया।
बसंत रावटे, पुराना बाजार, राजहरा, संभू यादव, धोबेदण्ड रावेसन, नवल सिंह चंद्राकर, वार्ड 10, दल्ली, गिरधारी लाल मंडावी, कोंडेकाशा, अनुप बाम्बेश्वर, वार्ड 3, राजहरा, नोहर सिंग, वार्ड 15, राजहरा, सोमदत्त साहू, वार्ड 4, राजहरा, भोज राम, पुराना बाजार, दल्ली, रामप्रसाद, वार्ड 16, दल्ली।
@Patrika.मामले की जानकारी मिलने के बाद जब मीडियाकर्मी तालाब के पास होटल के बाहर पहुंचे तो आरोपी भोजन कर बाहर आने लगे। इस दौरान जब वीडियो बनाए जाने लगे, तो पहले कुछ पुलिस कर्मी अलग हो गए, वहीं एक कर्मी ने वीडियो डिलीट करने तक की धमकी दे डाली। तब मिडियाकर्मियों ने इसकी शिकायत थाना प्रभारी व अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक को तत्काल मोबाइल पर दी गई। अधिकारियों ने मामले की जांच करने की बात कही।