एक बार नहीं सुना तो क्या किया आपने?
यह कविता मुख्य रूप से महिलाओं को प्रेरित करती है। ऐसे शब्दों का प्रयोग है, जो आपके खून को लावा बना देंगे। ये सोचकर आप हैरान होंगे कि कैसे एक कम उम्र का लड़का इतनी संजीदगी से शब्दों को पिरो रहा है। आदित्य ने अपनी इस कविता का पाठ आईआईटी दिल्ली में हजारों लोगों के सामने जैसे ही किया सबने दिलखोलकर तारीफे कीं। यही नहीं डीपीएस जयपुर का पूरा ऑर्डिटोरियम भी उन्हें सुनने के लिए बेचैन था। कविता इतनी शानदार है कि इसकी गुणवत्ता के आधार पर मुंबई की स्वयं सेवी संस्था द हैबिटेट ने इसे अपने चैनल पर अपलोड किया। मुंबई में हुए संस्था के ओपन थिएथर कार्यक्रम में हजारों की भीड़ ने उन्हें लाइव सुना। हर एक बोल पर हजारों की तालियां बजीं।
यह कविता मुख्य रूप से महिलाओं को प्रेरित करती है। ऐसे शब्दों का प्रयोग है, जो आपके खून को लावा बना देंगे। ये सोचकर आप हैरान होंगे कि कैसे एक कम उम्र का लड़का इतनी संजीदगी से शब्दों को पिरो रहा है। आदित्य ने अपनी इस कविता का पाठ आईआईटी दिल्ली में हजारों लोगों के सामने जैसे ही किया सबने दिलखोलकर तारीफे कीं। यही नहीं डीपीएस जयपुर का पूरा ऑर्डिटोरियम भी उन्हें सुनने के लिए बेचैन था। कविता इतनी शानदार है कि इसकी गुणवत्ता के आधार पर मुंबई की स्वयं सेवी संस्था द हैबिटेट ने इसे अपने चैनल पर अपलोड किया। मुंबई में हुए संस्था के ओपन थिएथर कार्यक्रम में हजारों की भीड़ ने उन्हें लाइव सुना। हर एक बोल पर हजारों की तालियां बजीं।
नारी उत्पीडऩ पर केंद्रीत
पुणे के सिंबियोसिस से अर्थशास्त्र विषय के साथ बीएससी की परीक्षा उत्तीर्ण आदित्य राज की कविता पुकार में उन्होंने नारी उत्पीडऩ एवं यौन हिंसा का मार्मिक चित्रण कर देश बड़े बड़े हत्याकांड पर कटाक्ष किया है। यही नहीं बस्तर के भोले-भाले आदिवासियों के अंदर निहित शक्तियों को ललकारते हुए भी कविता लिखी है। श्रोताओं के अनुसार शोषण के खिलाफ आवाज उठाने वाली इन कविताओं से निश्चित रूप से समाज में जागृति आएगी। आदित्य राज का मुख्य उद्देश्य समाज में व्याप्त विषमताओं के प्रति जागरूकता उत्पन्न करना है। आदित्य की माता डॉ. अनुपमा कश्यप भी साइंस कालेज में रसायन शास्त्र की प्राध्यापक हैं।
पुणे के सिंबियोसिस से अर्थशास्त्र विषय के साथ बीएससी की परीक्षा उत्तीर्ण आदित्य राज की कविता पुकार में उन्होंने नारी उत्पीडऩ एवं यौन हिंसा का मार्मिक चित्रण कर देश बड़े बड़े हत्याकांड पर कटाक्ष किया है। यही नहीं बस्तर के भोले-भाले आदिवासियों के अंदर निहित शक्तियों को ललकारते हुए भी कविता लिखी है। श्रोताओं के अनुसार शोषण के खिलाफ आवाज उठाने वाली इन कविताओं से निश्चित रूप से समाज में जागृति आएगी। आदित्य राज का मुख्य उद्देश्य समाज में व्याप्त विषमताओं के प्रति जागरूकता उत्पन्न करना है। आदित्य की माता डॉ. अनुपमा कश्यप भी साइंस कालेज में रसायन शास्त्र की प्राध्यापक हैं।
यूट्यूब पर ऐसे मिलेगी पुकार
अगर, आप यह कविता सुनना चाहते हैं तो आपको यूट्यूब के सर्च बॉक्स में ‘आदित्य राज कश्यप पोएट्रीÓ लिखकर सर्च करना होगा। सबसे पहले पुकार नाम से दिया गया लिंक ही सामने आएगा। उसे टैप करते ही कविता सुनाई देने लगेगी। बेहतर होगा कि आप इसे लाइक करें क्योंकि यह होनहार को प्रोत्साहित करने का जरिया माना जाएगा। इससे अपने शहर का कद भी बढ़ेगा।
अगर, आप यह कविता सुनना चाहते हैं तो आपको यूट्यूब के सर्च बॉक्स में ‘आदित्य राज कश्यप पोएट्रीÓ लिखकर सर्च करना होगा। सबसे पहले पुकार नाम से दिया गया लिंक ही सामने आएगा। उसे टैप करते ही कविता सुनाई देने लगेगी। बेहतर होगा कि आप इसे लाइक करें क्योंकि यह होनहार को प्रोत्साहित करने का जरिया माना जाएगा। इससे अपने शहर का कद भी बढ़ेगा।