भीलवाड़ा

बजट नहीं है इसलिए अधूरा है विद्यालय भवन

भीलवाड़ा जिले के अरवड़ क्षेत्र के पुरानी अरवड़ गांव में स्थित आठवीं तक के विद्यालय में मात्र दो ही कक्षाएं हैं। शेष कक्षाएं बरामदे में लगाई जाती हैं। दूसरी ओर, बजट नहीं आने से विद्यालय का भवन निर्माण का अब तक अधूरा पड़ा है।

भीलवाड़ाJul 20, 2019 / 01:50 pm

Durgeshwari

Budget is not so incomplete school building in bhilwara

 
अरवड़. पुरानी अरवड़ में स्थित राजकीय बालिका उच्च प्राथमिक विद्यालय (ब्लॉक शाहपुरा) शिक्षा के क्षेत्र में रोजाना किए जा रहे दावों की सच्चाई को उजागर करता दिखाई देता है।

स्थानीय लोगों ने बताया कि राजकीय बालिका उच्च प्राथमिक विद्यालय पुरानी अरवड़ में मात्र दो कमरे हैं। कमरों के अभाव में बालिकाओं को बरामदे में बैठकर पढ़ाई करनी पड़ रही है। यहां आठ तक 86 बालिकाएं अध्ययनरत है।
छात्राओं ने बताया कि विद्यालय में चार दीवारी, किचन शेड व कमरों का अभाव है। चारदीवारी नहीं होने से दिनभर मवेशी विद्यालय में विचरण करते रहते हैं। साथ ही, जहरीले जीव – जन्तुओं के आने का भी हमेशा डर बना रहता है।
संस्था प्रधान सूर्यकांत प्रजापति ने बताया कि सत्र 2017-18 में डीएमएफटी योजना के अंतर्गत विद्यालय में दो अतिरिक्त कक्षा -कक्षों की स्वीकृति प्राप्त हुई। नवम्बर 2018 में कार्यकारी एजेन्सी जल संसाधन विभाग ने कार्य शुरू किया जो अब तक अधूरा है। किचन शेड के अभाव में पोषाहार कुक कम हेल्पर के घर से बनकर आता है। साथ ही, भण्डारण व्यवस्था भी सुचारू नहीं हो पा रही है। संस्था प्रधान ने बताया कि अधूरे पड़े अतिरिक्त कक्षा कक्ष के बारे में उच्च अधिकारियों से जानकारी चाही गई परन्तु उचित एवं संतोष पूर्ण जवाब नहीं मिला।

जिला शिक्षा अधिकारी राधेश्याम शर्मा ने बताया कि इस समस्या पर शीघ्र ही एक्शन लेंगे। जो भवन बन रहा उसको पूरा करवाएंगे। यदि कोई राजकीय भवन खाली पड़ा है तो फिलहाल उसमें विद्यालय शिफ्ट करेंगे ताकि बालिकाओं के लिए व्यवस्था दुरस्त हो सके।

जल संसाधन विभाग सहायक अभियन्ता रमेशचन्द्र नुवाल ने बताया कि आगे से बजट नहीं आने से कक्षा- कक्षों का निर्माण काम रुका हुआ है, बजट आते ही कार्य शुरू किया जाएगा।
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