लाइब्रेरी संचालक तरुण शर्मा बताते है कि शहर में करीब 50 लाइब्रेरी है। यहां नेट की सुविधा हो, किताबों व ज्ञान का खजाना एक स्थन पर मिलेगा। साथ बैठ कर पढ़ाई कर रहे हो, लेकिन आपसे में बातचीत नहीं हो। बात ना हो सके, इसके लिए एक दूसरे के बीच में पर्याप्त दूरी भी हो। यह तमाम सुविधाएं निजी स्तर पर लाइब्रेरी मुहैय्या करा रही है।
गरिमा राठी बताती है कि वह आरजेएस मैन की तैयारी कर रही है। ओमप्रकाश गुर्जर बताते है कि कांस्टेबल परीक्षा के दौरान लाइब्रेरी में घंटों पढ़ाई की। आज नौकरी कर रहा हूं। डॉ.ज्योति डाड बताती है कि दंत रोग में अब नीट पीजी की तैयारी यही कर रही हूं। राजेश सिंह ने बताया कि आरएएस की तैयारी के लिए लाइब्रेरी सबसे बेहतर स्थान है, यहां काफी शांति रहती है। पूजा चौहान कहती है कि रीट परीक्षा के लिए घंटों लाइब्रेरी बरेरी में पढ़ाई करती है। छात्र रमन बताते है कि स्कूल में पढ़ाई का माहौल नहीं मिल रहा है। घर में पढ़ाई नहीं होती है, ऐसे में वह यहां पढ़ने आ रहा है।