जानकारी के अनुसार रात दो बजे तीन जने दीवार फांदकर रामकिशन गुर्जर के घर में घुसे। सीढि़यों के दरवाजे एवं कमरे की बाहर से कुंदी लगा दी। कमरे में गुर्जर की पुत्रवधू सो रही थी। निकट ही कमरे में सो रही रामकिशन की पत्नी प्रेमदेवी (६५) का दरवाजा खोल दिया। लुटेरों को देख प्रेमदेवी ने दरवाजा बंद करने का प्रयास किया। इस पर लुटेरों ने दरवाजे को धकेल कर तोड़ दिया और प्रेमदेवी के गले से रामनामी के साथ ही सोने का बोर छीन व सोने की नथ छीन ली।
छीना-झपटी में प्रेमदेवी जख्मी हो गई। इस दौरान उसके साथ सो रही पांच साल की पोती राधिका की नींद खुल गई। दादी को घिरा देखकर राधिक भी लुटेरों से भिड़ गई। लुटेरों ने राधिका को उठाकर पलंग पर पटक दिया। प्रेम देवी ने एक लुटेरे को पहचान लिया। उसने भागते हुए लुटेरों को आंगन में पकडऩे का प्रयास किया। शोर-शराबा सुन छत पर सो रहा प्रेमदेवी का पुत्र हरिशंकर और पड़ोसी दौड़कर आए, तब तक लुटेरे भाग छूटे। छीना-झपट्टी में लुटेरे का एक कड़ा प्रेमदेवी के हाथ में रह गया। घटना के बाद प्रेमदेवी बेहोश हो गई। उसे अस्पताल ले जाया गया।
रोशनदान तोड़ अंदर घुसे रामकिशन के घर में वारदात से पहले लुटेरे महेन्द्र सिंह के घर के कमरे में रोशनदान तोड़कर घुसे। वहां कुछ हाथ नहीं लगा। शाहपुरा पुलिस ने घटनास्थल का मुआयना किया। हरिशंकर ने गांव के एक व्यक्ति के नामजद व दो अन्य के खिलाफ मामला दर्ज कराया।