फूप कस्बे में अनुबंध के आधार पर किसानों से जमीन लेकर आपपास के ग्रामीणों को गुमराह कर महंगे दामों पर प्लाट बेचे जा रहे हैं, जबकि किसी ने भी कालोनाइजर का लाइसेंस नहीं लिया है। अटेर रोड, पाली रोड, अहेंती रोड, भदाकुर रोड, भोनपुरा के पास, इटावा रोड, भिण्डरोड पर दो दर्जन से अधिक स्थानों पर अवैध रूप से प्लाटिंग का कार्य चल रहा है। इन स्थानों पर कहीं भी प्लाटिंग करने से पहले न तो डायवर्सन कराया गया है और न ही टाउन एंडकंट्री प्लानिंग से नक्शा पास कराया गया है। इतना ही नपं से किसी ने भवन निर्माण की परमीशन भी नहीं ली है। जिन लोगों ने अवैध रूप से खेती की जमीन पर मकान बना लिए हैं वहां पर विद्युत की सुविधा नहीं है। अधिकांश लोगों ने बल्लियों पर सीधे ट्रासफार्मर से हुकिंग कर बिना कनेक्शन लिए ही विद्युत का उपयोग करना शुरू कर दिया है। इन बस्तियों में मकान बनाने वालों को निकलने के लिए सडक़ तक नहीं है। बरसात के मौसम में तो सैकड़ों परिवार घरों में ही कैद हो जाने को मजबूर हो जाते हैं। अवैध प्लाटिंग से राजस्व विभाग और नपं को लाखों रुपए का नुकसान उठाना पड़ रहा है।
किसानों से ही कराई जाती है रजिस्ट्री कानूनी फंदे से बचने के लिए अवैध कालोनाइजर किसान से उसके खेत का सौंदा कर लेते हैं। दोनो पक्षों के बीच 100 रुपए के स्टांप पर जमीन का सौदा हो जाता है। इसके बाद कालोनाइजर उस जमीन पर प्लाटिंग कर देते हंै। नक्शे में जगह-जगह सडक़ें और पार्क भी दर्शा दिए जाते हैं। जो ग्राहक प्लाट खरीदनें के लिए तैयार होता है उससे पैसे तो खुद ले लेते हैं, जबकि रजिस्ट्री किसान से करा दी जाती है। इससे कालोनाइजर कानूनी फंदे में फंसने से बच जाता है। फूप में सडक़ के किनारे प्रतिबीघा जमीन का भाव 20 से 25 लाख रुपए है जबकि प्लाटिंग के बाद इसकी कीमत 40 लाख तक पहुंच जाती है।
कथन अवैध कालोनियों में मानवीयता के आधार पर पेयजल, सफाई की सुविधाएं दी जा रही है। सडक़ों के किनारे कुछ स्थानों पर प्लाटिंग हो रही है। इनमें से कुछ क्षेत्र सडक़ के किनारे जरूर है लेकिन वे नपा की सीमा में न होकर पंचायत क्षेत्र में हैं। इसके बाद भी हम सर्वे कराने के बाद नोटिस जारी कर रहे हैं।
-प्रदीप शर्मा सीएमओ नपं फू प अवैध प्लाटिंग की जानकारी हमारें संज्ञान में नहीं है। नायब तहसीलदार को एक दो दिन में भेजकर जानकारी मंगा रहे हैं। प्लाटिंग करने वालों की पहचान कर नोटिस जारी किए जाएंगे। प्रकरण भी दर्ज किया जाएगा।
-मोहम्मद इकवाल एसडीएम भिण्ड