scriptMoU signed for 60 meter high hydraulic platform made of white elephant | सफेद हाथी बने 60 मीटर ऊंचे हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म के लिए हुआ एमओयू | Patrika News

सफेद हाथी बने 60 मीटर ऊंचे हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म के लिए हुआ एमओयू

locationभिवाड़ीPublished: Feb 23, 2023 07:31:27 pm

Submitted by:

Dharmendra dixit

आपूर्ति फर्म के छह कर्मचारी शिफ्ट में रहेंगे तैनात, फायर शाखा के 13 कर्मचारियों को मिलेगा प्रशिक्षण

सफेद हाथी बने 60 मीटर ऊंचे हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म के लिए हुआ एमओयू
सफेद हाथी बने 60 मीटर ऊंचे हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म के लिए हुआ एमओयू

भिवाड़ी. फिनलैंड से 15 करोड़ में खरीदा गया हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म सफेद हाथी बना खड़ा है। इस मशीन से 60 मीटर ऊंचाई तक आग बुझाई जा सकती है। नगर परिषद की फायर शाखा को यह मशीन 23 नबंवर को डीएलबी द्वारा सौंप दी गई। उक्त मशीन का संचालन करने के लिए डीएलबी और हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म की आपूर्ति करने वाली फर्म ब्रजवासी के बीच एमओयू होना है। पत्रिका ने पांच फरवरी के अंक में इस खबर को हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म बना सफेद हाथी शीर्षक से प्रकाशित किया था। पत्रिका में खबर प्रकाशित होने के बाद एमओयू हुआ है। डीएलबी और ब्रजवासी फर्म के बीच में पांच साल का एमओयू हुआ है। इसमें आपूर्ति फर्म मशीन को पांच साल तक ऑपरेट करेगी। फर्म के छह कर्मचारी अग्निशमन कार्यालय पर शिफ्ट में तैनात रहेंगे। ट्रेनिंग के लिए दो कर्मचारी आएंगे जो कि एक सप्ताह रहेंगे, फर्म द्वारा नियुक्त कर्मचारी और फायर शाखा के १३ कर्मचारियों को प्रशिक्षित करेंगे। नगर परिषद द्वारा आपूर्ति फर्म को प्रति वर्ष करीब २४ लाख रुपए का भुगतान किया जाएगा।
पत्रिका ने पांच फरवरी के अंक में बताया था कि दो महीने बाद भी एमओयू नहीं हुआ है। जिसकी वजह से मशीन को ऑपरेट करने के लिए अग्निशमन शाखा के पास कोई इंतजाम नहीं है। अगर इस दौरान किसी बहुमंजिला इमारत में आग लग जाए तो उसे बुझाने के लिए जरूरी मशीन होते हुए भी उसका उपयोग नहीं हो सकेगा। औद्योगिक क्षेत्र की सैकड़ों बहुमंजिला इमारत और पांच हजार इकाइयों में आग बुझाने के लिए नगर परिषद की अग्निशमन शाखा को 60 मीटर ऊंचा हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म 23 नवंबर को मिला। प्लेटफॉर्म करीब तीन महीने पहले जयपुर में आ चुका था। जयपुर आने के बाद आपूर्तिकर्ता कंपनी और डीएलबी द्वारा संयुक्त तकनीकि परीक्षण किया गया। डीएलबी और आपूर्तिकर्ता कंपनी के बीच एमओयू होने के बाद यहां तकनीकि स्टाफ नियुक्त किया जाना था। लेकिन एमओयू न होने की वजह से सारा काम अटका पड़ा है। अभी तक इंडस्ट्रियल क्षेत्र में आग की घटना होने पर थोड़ी ही देर में स्थिति बेकाबू हो जाती है। रीको प्रथम शाखा की चार, द्वितीय शाखा की चार और नगर परिषद की दो फायर वाहन आग पर काबू पाते हैं। आग को बढ़ता देख निजी कंपनियों में रखे फायर टेंडर, आसपास के इंडस्ट्रियल क्षेत्र और हरियाणा के फायर सेंटर से दमकल वाहनों को बुलाना पड़ता है। जबकि ऊंचाई पर आग लगने की स्थिति में स्थिति नियंत्रण में नहीं होती। ऐसी स्थिति में अभी तक गुरुग्राम से हाइड्रोलिक प्लेटफॉर्म लैडर मंगाना पड़ता है, जिसके यहां तक पहुंचने में काफी देर हो जाती है। क्षेत्र में हर साल 200 से अधिक आग की घटनाएं होती हैं जिनमें बड़ी तादाद में नुकसान होता है।
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एमओयू हो चुका है, फायर शाखा और आपूर्ति फर्म द्वारा भेजे गए स्टाफ को तकनीकि रूप से प्रशिक्षण दिया जाएगा। जल्द ही प्रशिक्षण शुरू हो जाएगा।
नरेश मीणा, अग्निशमन अधिकारी
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