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ALERT: देश के दिल मध्यप्रदेश की हवा में घुला जहर, रोज बढ़ रहा है बीमारियों का खतरा

locationभोपालPublished: Nov 14, 2017 10:55:50 am

Submitted by:

Manish Gite

वायु प्रदूषण के मामले में मध्यप्रदेश की आबोहवा भी बेहद खतरनाक हो गई है। हवा में जहर छोड़ने के मामले में मध्यप्रदेश देश में तीसरे नंबर पर पहुंच गया है।

Issue of pollution by Singrauli legislator raised in assembly

Issue of pollution by Singrauli legislator raised in assembly

भोपाल/नई दिल्ली। वायु प्रदूषण के मामले में मध्यप्रदेश की आबोहवा भी बेहद खतरनाक हो गई है। हवा में जहर छोड़ने के मामले में मध्यप्रदेश देश में तीसरे नंबर पर पहुंच गया है। जबकि दूसरे नंबर पर उत्तरप्रदेश और पहले नंबर पर राजस्थान हैं।
वैज्ञानिक अध्ययन में हुआ खुलासा
जहरीले धुएं से फैली घबराहट के बीच बीमारियों के बोझ पर हुए पहले राज्यवार वैज्ञानिक अध्ययन में यह बात सामने आई है। देश में कुल बीमारियों में 11 फीसदी की वजह सिर्फ वायु प्रदूषण है। इंसानी जीवन के कीमती वर्ष बर्बाद करने में इसे दूसरा सबसे बड़ा कारण पाया गया है। प्रदूषण की मार के लिहाज से राजस्थान की हालत देश में सबसे भयावह है। तीसरे स्थान पर मध्य प्रदेश है।
बच्चों और गर्भवती महिलाओं पर असर
केंद्र सरकार की ओर से दो साल के प्रयास से तैयार अध्ययन में बच्चों और गर्भवती महिलाओं के कुपोषण सबसे ऊपर पाया गया है। यह 15 फीसदी बीमारियों की अकेली वजह है। लेकिन कुपोषण के अधिकांश पैमानों में 1990 से 2016 के दौरान काफी कमी आई है। घर से बाहर वायु प्रदूषण में इस दौरान 17 प्रतिशत वृद्धि हुई है।

खान-पान संबंधी खतरे में
पिछड़े राज्यों पर इसका असर ज्यादा है। केंद्र सरकार ने कुछ गैर सरकारी संगठनों के साथ मिल कर ‘हेल्थ ऑफ द नेशन्स स्टेट्स’ रिपोर्ट तैयार की है। इसमें पाया गया है कि भारत उन देशों में है, जहां लोगों को वायु प्रदूषण का खतरा सबसे ज्यादा है। तीसरे नंबर पर खान-पान संबंधी खतरे हैं। हाई ब्लड प्रेशर और शुगर को भी शीर्ष पांच खतरों में रखा गया है।
क्यों महत्वपूर्ण है यह रिपोर्ट
देश के शीर्ष संस्थान भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) ने दो गैर सरकारी संगठनों के साथ मिल कर दो साल के प्रयास के बाद इसे तैयार किया है। अब तक अलग-अलग बीमारियों के बोझ का अध्ययन होता रहा है, लेकिन राष्ट्रीय स्तर पर सभी राज्यों और सभी प्रमुख बीमारियों को शामिल करने वाला यह पहला ऐसा अध्ययन है। केंद्र सरकार के साथ ही राज्यों को भी अपनी योजना और नीति तय करने में यह मददगार होगा।

क्यों गंभीर है स्थिति
दिल्ली सहित उत्तर भारत के बड़े इलाके में आसमान में फैले जहरीले धुएं की वजह से अधिकांश लोगों को आंखों में जलन और सर दर्द जैसी समस्या तो हो रही है, लेकिन यह रिपोर्ट सिर्फ गंभीर बीमारियों की बात करता है। यह बड़ी संख्या में लोगों में फेफड़े, गुर्दे और मस्तिष्क जैसे अंगों की बीमारियां पैदा करता है। भारत में सबसे ज्यादा जान लेने वाली पांच शीर्ष बीमारियों में चार की वजह वायु प्रदूषण होता है।

भारत में शीर्ष पांच जानलेवा बीमारियां
1. हृदय रोग 2.फेफड़े संबंधी रोग (सीओपीडी),
3. डायरिया, 4.लकवा, 5. श्वसन संबंधी संक्रमण।

प्रदूषण से होने वाली डैली* दर

राष्ट्रीय ३,४६९
राजस्थान ४,५२८
उत्तर प्रदेश ४,३९०
मध्यप्रदेश ३,८०९
छत्तीसगढ़ ३,६६७
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