वहीं ग्रामीण क्षेत्रों में रिस्पांस टाइम 30 मिनट है। कंपनी अब इसे पांच मिनट और कम करने का प्रयास कर रही है। दरअसल गुरुवार को कंपनी के सभी क्लस्टर हेड के साथ उच्च स्तरीय बैठक का आयोजन किया गया। इस बैठक में प्रदेश के सभी जिलों के क्लस्टर हेड शामिल हुए।
बैठक में रिस्पांट टाइम को कम करने के लिए जीपीएस पोर्टल को बेहतर बनाने की बात कही गई। बैठक में सुझाव आया कि जीपीएस लोकेशन से मरीजों की स्थिति स्पष्ट हो जाएगी जिससे उस तक पहुंच जाना आसान होगा। सभी एंबुलेंस में बदले जाएंगे उपकरण कंपनी के मार्केटिंग मैनेजर तरुण सिंह ने बताया कि बैठक में एंबुलेंस के जीवनरक्षक उपकरणों को अपडेट करने की बात भी हुई।
अब तक 70 फीसदी एंबुलेंस को अपडेट किया जा चुका है, बाकी की एंबुलेंस भी जल्द ही अपडेट हो जाएंगी। मालूम हो कि प्रदेश में 108 एंबुलेंस की संख्या 606 है, वहीं 740 जननी एक्सप्रेस हैं।