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चीन से मंगाते थे ब्लैंक एटीएम कार्ड, अहमदाबाद जाकर निकालते थे रुपए

locationभोपालPublished: Jul 20, 2018 07:36:12 am

Submitted by:

KRISHNAKANT SHUKLA

एटीएम में स्कीमर लगाकर डाटा चुराते, छत पर लगे कैमरे से पासवर्ड रिकॉर्ड करते और कार्ड क्लोन कर उड़ा देते खाते से रुपए

ATM hackers

Smashing at the ATM, Stolen attempt

भोपाल. राजधानी की साइबर सेल ने एटीएम में स्कीमर लगा कार्ड क्लोनिंग के जरिए खाता धारकों की रकम उड़ाने वाले मुंबई निवासी मास्टर माइंड जालसाज मोहम्मद हाकम को गिरफ्तार किया है। जबकि उसका साथी फैजान फरार है। पुलिस का दावा कि फैजान नेपाल के रास्ते दुबई भाग गया है।

फैजान वारदात में तकनीकी सहयोग करता था। वह ठगी की रकम बिटकाइन-हवाला में निवेश कर रखा है। आरोपियों ने शाहपुरा इलाके में स्थित एसबीआइ के एटीएम में स्कीमर के जरिए 73 खाता धारकों का डाटा चुराकर उनके खातों से करीब 17 लाख 36 हजार रुपए अहमदाबाद के अलग-अलग एटीएम से निकाले थे।

करीब सालभर बाद जांच एजेंसी गिरोह के मास्टर माइंड को पकडऩे में कामयाब रही। साइबर एसपी जितेंद्र सिंह ने बताया कि इस गिरोह ने मुंबई, हैदराबाद, लखनऊ, शिमला, सूरत सहित देश भर के दर्जनों बड़े शहर में वारदात को अंजाम दिया है। गिरोह में महिलाएं भी शामिल हैं। ये महिलाएं स्कीमर की निगरानी करती थीं। इसके साथ जब इनका साथी एटीएम स्कीमर और कैमरा लगा रहा होता है तब वो एटीएम के बाहर खड़ी होकर आने-जाने वाले लोगों को रोकती थीं। महिलाओं की गिरफ्तारी अभी नहीं हुई है।

 

इन हाईटेक तरीके से दिया वारदात को अंजाम

स्कीमर
एटीएम एंट्री प्वाइंट पर स्कीमर लगा देते थे। इसके बाद इसी स्कीमर में जब ग्राहक अपना एटीएम कार्ड डालता था तब इसमें उसके कार्ड का पूरा डेटा रेकॉर्ड हो जाता था। इसके बाद इस डाटा को हार्ड डिस्ट में स्टोर करते थे।
पोर्टेबल कैमरा
एंट्री प्वाइंट पर स्कीमर लगाने के बाद ये लोग एटीएम रूम में ही की-बोर्ड के ऊपर छत पर पोर्टेबल कैमरा लगा देते थे। जब कोई पासवर्ड इंट्री करता था तो वो कैमरे में कैद हो जाता था। बाद में जूम कर ये पासवर्ड निकाल लेते थे।
तकनीक
स्कीमर से डाटा आने के बाद ये लोग ब्लैंक एटीएम में उस डाटा को ट्रांसफर कर देते थे। इसके बाद क्लोन एटीएम तैयार करते थे। कैमरे से पासवर्ड निकालकर क्लोन एटीएम से खाताधारक के रुपए निकाल लेते थे।

होटल में फर्जी नाम से ठहरे थे आरोपी
गिरोह ने भोपाल में दो बार वारदात को अंजाम दिया। जनवरी और जुलाई 2017 में। पुलिस के पास जुलाई की शिकायत तो है लेकिन जनवरी में किसके साथ इन लोगों ने ठगी की है, इसका पता नहीं चल पाया है। इनके गिरोह के तीन लोग मोहम्मद हुसैन हाकम, फैजान और एक युवती शामिल है। ये लोग होटल में फैजान अफजल, हाकम समीर और युवती समीरा बनकर रह रही थी। इन लोगों ने फर्जी दस्तावेज भी तैयार कर रखे थे।

फ्लाइट से करते थे आना-जाना
गिरोह वारदात को अंजाम देने के लिए हर शहर में फ्लाइट से जाता था। रुपए निकालने के बाद हाकम 40, फैजान 40 और युवती को 20 फीसदी राशि मिलती थी। इन लोगों ने एमपी नगर जोन-2 से जूम इलेक्ट्रॉनिक्स से हार्डडिस्क और केबल खरीदी थी।

ड्रग्स के लिए करता था लूट-चोरी

मास्टर माइंड हाकम कोलकाता में पुराने जहाज के स्क्रेप को बेचने का काम करता था। इसमें उसे काफी नुकसान हुआ। इसके बाद वो मुंबई आ गए। हाकम ने 10वीं के बाद पढ़ाई छोड़ दी। वो ड्रग्स लेने लगा। इसके लिए वो मुंबई में चेन स्नेचिंग और बैग चोरी करने लगा। कई बार इस मामले में वह जेल जा चुका था। इसी दौरान इसकी मुलाकत स्कूल के साथी फैजान से हुई। फैजान के पिता कतर में रहते थे।

फैजान ने बीई इलेक्ट्रॉनिक्स किया है। इस कारण उसे तकनीक के बारे में जानकारी थी। उसी ने हाकम को ये आइडिया दिया। इसके बाद हाकम 15 लोगों की एक टीम बनाई। इसमें युवतियां भी थीं। टीम को किस शहर में जाना है, कहां क्या करना है ये सब हाकम ही तय करता था।

मुंबई से मिला सुराग
गुलमोहर इलाके के सेवॉय कॉम्प्लेक्स स्थित एसबीआइ के एटीएम से 8 जुलाई 2017 को डेबिट कार्ड क्लोन कर करीब 17 लाख रुपए निकाले थे। पुलिस को एटीएम के पास लगे सीसीटीवी कैमरे से एक फुटेज मिला। इसमें एक संदिग्ध युवक दिखा। मुंबई पुलिस से भोपाल साइबर पुलिस को इनपुट मिला कि ये युवक मुंबई में वारदात कर चुका है।

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