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सिंगरौली, पीथमपुर और नागदा से भी ज्यादा प्रदूषित है भोपाल

locationभोपालPublished: Jan 23, 2020 12:50:55 am

Submitted by:

manish kushwah

अलर्ट: ग्रीन पीस इंडिया ने जारी की रिपोर्ट, राजधानी में पीएम-10 का स्तर खतरनाक, इंदौर में बेहतर सफाई व्यवस्था के कारण सुधरी आबोहवा

सिंगरौली, पीथमपुर और नागदा से भी ज्यादा प्रदूषित है भोपाल

सिंगरौली, पीथमपुर और नागदा से भी ज्यादा प्रदूषित है भोपाल

भोपाल. ग्रीन पीस इंडिया की मंगलवार को जारी रिपोर्ट में भोपाल मप्र का सबसे प्रदूषित शहर है। पीएम-10 का स्तर सर्वाधिक मिला। भोपाल औद्योगिक शहर सिंगरौली, पीथमपुर और नागदा से भी अधिक प्रदूषित है। दूसरे स्थान पर ग्वालियर है। इंदौर में साफ-सफाई का स्तर सुधरा तो ट्रैफिक सबसे ज्यादा होने के बावजूद प्रदूषण कम हुआ। विशेषज्ञों के मुताबिक भोपाल में प्रदूषण बढऩे का मुख्य कारण विकास कार्य और खराब सड़कों के कारण उडऩे वाली धूल है। ग्रीनपीस इंडिया ने यह रिपोर्ट देश के 287 शहरों में पीएम-10 के डाटा के आधार पर तैयार की है।
झारखंड का झारिया देश का सबसे प्रदूषित शहर है। रिपोर्ट में मप्र के 13 शहर शामिल हैं। भोपाल में पीएम-10 का स्तर 135 मिला है, जो सीपीसीबी के मानकों से ज्यादा है। हालांकि देशभर के शहरों में भोपाल का 63वां स्थान है। राजधानी में प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की मॉनीटरिंग में भी एक्यूआई 150 से अधिक आता रहा है। 

पीएम-10 यानी पार्टिकुलेट मैटर हवा में घुले हुए 2.5 से 10 माइक्रोमीटर तक की साइज के अतिसूक्ष्म कण हैं। हवा में इनकी संख्या जितनी बढ़ती जाती है, वह हमारे स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है। मापदंडों के अनुसार 24 घंटे में 65 माइक्रोग्राम प्रति क्यूबिक मीटर होना चाहिए। इससे अधिक होने पर कार्डियोवैस्कुलर डिसीज के साथ श्वास संबंधी बीमारियां भी बढ़ती हैं।
यह है कारण
पर्यावरणविद् सुदेश वाघमारे के अनुसार राजधानी में हरियाली घटती जा रही है। इसके साथ जगह-जगह निर्माण कार्य चल रहे हैं, उनकी धूल को रोकने के लिए समुचित इंतजाम नहीं किए गए हैं। इसी तरह जर्जर सड़कों से लगातार धूल उड़ रही है। पुराने वाहने हवा प्रदूषित कर रहे हैं। इस कारण यहां प्रदूषण का स्तर बढ़ रहा है। इसे रोकने के लिए सख्त कदम उठाने की जरूरत है।

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