भोपाल

गणित का आसान सवाल तक हल नहीं कर सका, बन गया आरक्षक

-व्यापमं की आरक्षक भर्ती परीक्षा-2013 में सॉल्वर से हल करवाया था पेपर-एसटीएफ ने भोपाल में पदस्थ रहे आरक्षक के खिलाफ दर्ज की एफआइआर-आरोपी व्यापमं घोटाले के मास्टरमाइंड डॉ. जगदीश सागर का है रिश्तेदार

भोपालSep 16, 2021 / 10:02 pm

manish kushwah

गणित का आसान सवाल तक हल नहीं कर सका, बन गया आरक्षक

भोपाल. चर्चित व्यापमं घोटाले में एसटीएफ ने एक और एफआइआर दर्ज की है। ये मामला पुलिस आरक्षक भर्ती परीक्षा-2013 का है। आरोपी वीरेश कुमार जाटव निवासी गोहद, जिला भिण्ड ने न केवल परीक्षा पास की, बल्कि भोपाल पुलिस में बतौर आरक्षक 4 अक्टूबर 2013 से पदस्थ था। जांच में खुलासा हुआ कि भर्ती परीक्षा में सॉल्वर को बैठाकर परीक्षा पास की गई थी। ओएमआर शीट में लगे अंगुली के निशान किसी और के हैं। आरोपी ने फिजिकल परीक्षा में किसी और को भेजा था। एफआइआर में कहा गया है कि वीरेश कुमार का भाई रमेश जाटव वर्ष 2012 से 2013 के बीच दलाली का काम करता था और पुलिस में भर्ती कराने का झांसा देता था। उसी ने तीन लाख रुपए देकर एक सॉल्वर को परीक्षा में बैठाया था। खास बात है कि आरोपी वीरेश कुमार व्यापमं घोटाले के मास्टर माइंड डॉ. जगदीश सागर का रिश्तेदार है। परीक्षा पास करने के लिए सॉल्वर को पहले पचास हजार रुपए दिए गए थे, इसके बाद बाकी के 2.50 लाख रुपए दिए गए। जांच में खुलासा हुआ कि फर्जीवाड़े से आरक्षक बने वीरेश कुमार को गणित के आसान सवाल तक हल करना नहीं आते हैं, इसका जिक्र एफआइआर में किया गया है। इसमें लिखा है कि वीरेश कुमार पढ़ाई में ***** है। व्यापमं भर्ती घोटाले में अभी तक एसटीएफ ने 17वीं एफआइआर दर्ज की है।

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