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लोकसभा से ठीक पहले कांग्रेस में शामिल होने जा रहे हैं भाजपा के ये बड़े नेता! जाने नाम,- इधर उमा ने कही ये बड़ी बात…

locationभोपालPublished: Mar 29, 2019 12:34:34 pm

उमा ने ट्वीट पर दिग्विजय पर साधा निशाना,कहा- जनता को बताएंगी दिग्विजय शासन की कमियां…

bhopal seat

2019 POLL: लोकसभा से ठीक पहले कांग्रेस में शामिल होने जा रहे हैं भाजपा के ये बड़े नेता! जाने नाम,- इधर उमा ने कही ये बड़ी बात…

भोपाल। मध्यप्रदेश की राजधानी और भाजपा का गढ़ कही जाने वाली भोपाल लोकसभा सीट को लेकर एक बार फिर सियासी पारा चढ़ गया है।

एक ओर जहां इस मुकाबले में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय के आ जाने से मुकाबला रोचक होता दिख रहा है। वहीं जानकारों का मानना है कि यह भाजपा के लिए परेशानी का विषय है।
इसी के चलते भोपाल सीट से अब तक भाजपा अपना प्रत्याशी तक घोषित नहीें कर पाई है, एक ओर जहां कभी इस सीट के लिए शिवराज का नाम समाने आता है तो कभी उमा या किसी और के नाम की हवा दी जाती है, लेकिन सूत्रों के अनुसार कई भाजपा नेताओं ने शिवराज को दिग्विजय के सामने कमजोर प्रत्याशी माना है।
जिसके चलते भाजपा के एक नेता ने तो भाजपा अध्यक्ष अमित शाह को पत्र लिखकर यहां यानि भोपाल से पीएम मोदी को उतारने तक की बात कह दी है।

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Digvijay singh at bhopal

इन्हीं सब के बीच पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के भोपाल संसदीय सीट से चुनावी मैदान में उतरने के साथ ही उनकी धुर विरोधी रहीं केंद्रीय मंत्री उमा भारती ने भी उनके विरोध में मोर्चा खोल दिया है।

भाजपा नेता उमा ने गुरुवार को ट्वीट करके कहा कि वे चुनाव तो नहीं लड़ेंगी, लेकिन दिग्विजय के खिलाफ प्रचार करने भोपाल जरूर आएंगी और वहां की जनता को दिग्विजय के शासन की याद दिलाएंगी।

उमा ने लिखा, यह अच्छा हुआ भोपाल की जनता से अन्याय करने वाले दिग्विजय अब वहां की जनता के दरबार में पेश हो रहे हैं। जनता उन्हें प्रचंड मतों से हराकर बदला लेगी। दिग्विजय की हालत तो यह है कि भाजपा का आम कार्यकर्ता भी उन्हें चुनाव में हरा सकता है।

उमा ने भोपाल सांसद और बाद में मुख्यमंत्री रहते हुए राजधानी में कराए काम गिनाते हुए लिखा, भोपाल में नर्मदा जल लाने की घोषणा मैंने की थी। उस समय दिग्विजय ने इसे असंभव बताकर खिल्ली उड़ाई थी।

uma Bharti

इधर, 16 साल बाद दिग्विजय ने मांगी माफी…
वहीं इससे पहले लोकसभा चुनाव के लिए प्रत्याशी घोषित होने के बाद पहली बार भोपाल पहुंचे पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह को साल 2003 में की गई अपनी सियासी गलती अचानक याद आ गई।

उन्होंने बुधवार को सरकारी कर्मचारी संघ के होली मिलन समारोह में 16 साल पहले दिए गए अपने बयान के लिए माफी मांगी।

भोपाल के गीतांजलि चौराहा स्थित कर्मचारी भवन में आयोजित होली मिलन समारोह में दिग्विजय सिंह ने कहा ”यह होली का मौका है, 15 साल हो गए। कोई भूल-चूक हो गई हो तो माफ करना। अगर मैं सांसद बनता हूं, तो हर वादा पूरा किया जाएगा। आपको पता है कि दिग्विजय झूठ नहीं बोलता है।”

उन्होंने अपने कार्यकाल में कर्मचारियों के हित में उठाए गए कदमों के बारे में भी बताया। कहा कि मेरी सरकार में केंद्र के समान कर्मचारियों को महंगाई भत्ता दिया गया और अनुकंपा नियुक्ति भी खूब हुईं।
ऐसे समझें मामला…
2003 के विधानसभा चुनाव के दौरान वेतन-भत्तों को लेकर राज्य कर्मचारियों में नाराजगी थी। कर्मचारियों की मांग थी कि राज्य और केंद्र के डीए में 9 फीसदी के अंतर को कम किया जाए।
इसके अलावा उन्होंने सरकारी नौकरी को लेकर एक विवादास्पद फार्मूला लागू करने पर भी काम करना शुरू कर दिया था। दिग्विजय के नेतृत्व में तत्कालीन राज्य सरकार ने 28 हजार से ज्यादा दैनिक वेतनभोगियों को नौकरी से हटाने के आदेश निकल दिया था।
जब सरकार से इस बाबत सवाल किया गया तो दिग्विजय सिंह ने कहा था कि चुनाव तो प्रबंधन से जीते जाते हैं, कर्मचारी और अन्य वर्गों के वोटों से नहीं।

ये है खास बात….
दरअसल भोपाल लोकसभा में लगभग दो लाख से ज्यादा कर्मचारी और पेंशन वालों के वोट हैं। जिन्हें अपने पाले में करने के लिए हर पार्टी प्रयत्नशील हैं। इसमें सबसे ज्यादा कर्मचारी वोट भोपाल की दक्षिण-पश्चिम विधानसभा में है। जबकि राज्य में कर्मचारियों के कुल वोट लगभग आठ लाख हैं।

सामने शिवराज हों या उमा भारती जीतकर दिखाएंगे: दिग्विजय सिंह
वहीं गुरुवार को कांग्रेस उम्मीदवार दिग्विजय सिंह ने भोपाल से जीत का दावा करते हुए कहा कि सामने उमा भारती हों या शिवराज सिंह चौहान, वे चुनाव जीतकर दिखाएंगे।

दिग्विजय ने कहा, मुझे बंटाढार कहा जा रहा है, लेकिन शिवराज सिंह चौहान सार्वजनिक मंच पर मेरे साथ उनके 15 साल बनाम मेरे 10 साल पर बहस कर लें, लेकिन वे मुझसे डरते हैं और भागते हैं।

उन्होंने कहा, पिछली सरकार 15 साल तक मेरी फाइलें खुलवाती रही, लेकिन भ्रष्टाचार का मामला नहीं निकाल पाई। उमा भारती भी मेरे खिलाफ भ्रष्टाचार का एक भी आरोप साबित नहीं कर पाईं। दिग्विजय सिंह ने कहा, उनके लिए चुनौती भाजपा पार्टी नहीं बल्कि उनकी विचारधारा है।

इधर, भाजपाई चले कांग्रेस के पास!…
मुरैना के महापौर और पांच बार के सांसद रहे अशोक अर्गल शुक्रवार को कांग्रेस में शामिल होने जा रहे हैं। पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी उन्हें सदस्यता दिलाएंगे। उन्हें भिंड या मुरैना से चुना लड़ा सकते हैं।
शहडोल सांसद ज्ञानसिंह के बगावत कर चुनाव लडऩे की घोषणा के बाद भाजपा को यह दूसरा झटका है। अर्गल ने पत्रिका से कहा, मैं भाजपा में एक मिनट नहीं रुकना चाहता हूं। कांग्रेस ने उन्हें मुरैना से नरेंद्र सिंह तोमर के खिलाफ उतारा तो वे टक्कर देने को तैयार हैं।
अर्गल को कांग्रेस में जाने से रोकने के लिए प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह ने फोन पर बात की। संगठन महामंत्री रामलाल ने भी मनाने की कोशिश की, लेकिन बात नहीं बनी।

आरडी प्रजापति को मनाने विधायक बेटे पर दबाव
टीकमगढ़ से भाजपा प्रत्याशी वीरेंद्र कुमार खटीक के खिलाफ मोर्चा खोलने वाले पूर्व विधायक आरडी प्रजापति को मनाने नेताओं ने उनके बेटे विधायक राजेश प्रजापति पर दबाव बनाया है। आरडी ने बयानबाजी नहीं रोकी तो उन पर अनुशासनात्मक कार्रवाई हो सकती है।

अनूप बोले: मुझसे हुआ संपर्क, लेकिन पार्टी नहीं छोड़ूंगा…
मुरैना सांसद अनूप मिश्रा का कहना है कि उनके भाजपा छोड़ कांग्रेस में जाने की खबरें झूठी हैं। उन्होंने कहा, कांग्रेस के कुछ लोगों ने मुझसे संपर्क किया है, लेकिन मैं कभी भी भाजपा नहीं छोड़ूंगा। भाजपा मेरे लिए मां समान है, मैं कार्यकर्ता की हैसियत से काम करता रहूंगा।

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