क्या कहते हैं एक्सपर्ट?
राजधानी भोपाल के हेल्थ एक्सपर्ट डॉ.नाजिम अली ने बताया कि, ये बात सही है कि, कैंसर शब्द ही किसी भी व्यक्ति के होश उड़ा देता है। इसमें हड्डी का कैंसर काफी घाचक माना जाता है। हालांकि, इसके शुरुआती संकेत तो समझकर इसका इलाज शुरु कर दिया जाए तो इस प्राणघाती बीमारी पर भी विजयी पाई जा सकती है। हड्डी के कैंसर के शुरुआती लक्षण बताते हुए डॉ. अली ने बताया कि, इसमें सबसे पहले शरीर की हड्डियों और जोड़ों में तेज दर्द होने लगता है। आमतौर पर ये शरीर की लंबी हड्डियों में होता है, जैसे बांह और पैरों में। इसलिए अगर किसी व्यक्ति को शरीर की लंबी हड्डियों में तेज दर्द हो तो उसे नजरंदाज न करें और जल्दी ही किसी अच्छे चिकित्सक से परामर्श करके जांच कराएं। आमतौर पर इसकी पीड़ा सोते समय या बिस्तर पर शांत लेटने पर होता है या किसी काम के दौरान भी इसका दर्द बढ़ जाता है। शुरुआत में इसका दर्द कभी कभी होता है, लेकिन जैसे जैसे कैंसर सेल्स बढ़ते हैं, वैसे वैसे पीड़ा भी बढ़ती जाती है। इसके अलावा, वो सामान्य लक्षण, जो हड्डी का कैंसर होने के संकेत देते हैं, आइये जानते हैं उनके बारे में…।
ये हैं हड्डी के कैंसर के सामान्य लक्षण जिसे लोग कर देते हैं नज़रअंदाज़
-जोड़ों में सूजन
आमतौर पर हड्डियों की सूजन वाला हिस्सा छूने पर मुलायम लगता है। इसी वजह से लोग इसे सामान्य सूजन समझकर नजरअंदाज कर देे हैं। कैंसर ग्रस्त स्थान की त्वचा सुर्ख लाल रंग की दिखती है, जो शरीर के अन्य हिस्से की तुलना में ज्यादा गर्म होता है। ये ही हिस्सा सुन्न भी मालूम पड़ता है। ऐसे लक्षण दिखाई पड़ने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना ठीक होगा।
-बुखार आना
अगर किसी व्यक्ति को हर कभी बुखार आने लगे तो इसे सावधानी से लेना ज़रूरी है। कभी-कभी कंधे में होने वाले ट्यूमर से बुखार की शिकायत हो सकती है और बुखार के जरिए रोगी का शरीर किसी संक्रमण से लड़ता है। इसलिए अगर बिना कारण बुखार है तो तुरंत चिकित्सक को दिखाना सही होगा।
-वजन तेजी से कम हो
हड्डी का कैंसर होने पर वो तेजी से कमजोर होने लगती हैं, जिसके चलते पीड़ित के वजन में काफी तेजी से कमी आने लगती है। अगर महीने भर के अंदर ही आपका वजन 2 से 5 किलो तक कम हो जाए, साथ ही जोड़ों में दर्द बढ़ता जाए, तो तुरंत चिकित्सक से संपर्क करें। अचानक से बिना किसी प्रयास के वजन में कमी होना आम बात नहीं है। इसे गंभीरता से लें। हड्डी का कैंसर होने पर जैसे-जैसे ट्यूमर बढ़ता है, ये समस्याएं बढ़ती जाती हैं।
-बार-बार होने लगे फ्रैक्चर
हड्डियों के कैंसर का पता तब भी चलता है जब मरीज बार-बार हड्डियों के फ्रैक्चर का शिकार होने लगता है। हड्डियों का कमजोर होना बोन कैंसर यानी हड्डियों के कैंसर का लक्षण हो सकता है। लेकिन यदि आपकी हड्डियां कमजोर हैं तो घबराने की जरूरत नहीं है क्योंकि यह कैल्शियम की कमी का भी संकेत हो सकता है। इसलिए बोन कैंसर के अन्य लक्षणों के दिखने पर ही कैंसर का संकेत मानें।
-इस तरह होती है हड्डी के कैंसर की जांच
डॉ. नाजिम अली ने बताा कि, ट्यूमर या सिस्ट कैंसर सेल्स है या नहीं इसकी पहचान के लिए डॉक्टर रोगी का परीक्षण करते हैं। शुरुआती लक्षणों के आधार पर डॉक्टर रोगी से ट्यूमर के आकार और उसके दर्द पर गौर करता है। इसके बाद चिकित्सक सिस्ट में मौजूद तरल पदार्थ की जांच करता है, ताकि, स्पष्ट हो सके कि, शरीर में जो लक्षण पाए जा रहे हैं, वो किस तरह का सिस्ट है। इसमें चिकित्सक सिरिंज की मदद से तरल पदार्थ निकालकर जांच करते हैं। सिस्ट कितनी तेजी से आगे बढ़ रहा है, उसकी भी जांच की जाती है।