बरकतउल्ला विवि एक अगस्त को अपना 48वां स्थापना दिवस मनाएगा
राज्यपाल आनंदी बेन होंगी मुख्य अतिथि, कुलपति भी होगा 'नया'

भोपाल. बरकतउल्ला विवि एक अगस्त को अपना 48वां स्थापना दिवस मनाएगा। राज्यपाल आनंदी बेन पटेल मुख्य अथिति होंगी। इसके लिए विवि को सैद्धांतिक सहमति मिल गई है। यह पहला अवसर होगा जब राज्यपाल आनंदी बने पटेल विवि में आएंगी। मप्र के राज्यपाल का कार्यभार संभालने के बाद अभी तक वे विवि में नही आई हैं।
खासबात है कि विवि में नए कुलपति के चयन की प्रक्रिया जोरों पर है। 24 जुलाई को सर्च कमेटी की बैठक भी है। ऐसे में हो सकता है कि स्थापना दिवस के पहले विवि में नए कुलपति की भी नियुक्ति हो जाए। राज्यपाल के आने की अनुमति के बाद विवि प्रबंधन भी उन्हें अपनी उपलब्धियां और बेहतर कार्य प्रणाली को दिखाने के लिए कोई कोरकसर नही छोडऩा चाहता।
इसको लेकर प्रबंधन ने तैयारियां शुरू कर दी हैं।जानकारी के अनुसार विवि प्रबंधन का यह प्रयास है कि वे राज्यपाल के सामने अच्छी छवि पेश कर सके। इसके लिए स्थापना दिवस की पूर्व संध्या पर लगभग सभी विभागों में पौरोपण करने की योजना विभाग ने तैयार की है। स्थापना दिवस के दिन विवि में कवि सम्मेलन आयोजित किए जाने पर भी विचार किया जा रहा है।
ये होंगे प्रमुख आयोजन
- विश्वविद्यालय में 25 और 15 वर्ष की सेवा पूर्ण कर चुके कर्मचारियों, अधिकारियों एवं शिक्षकों का सम्मान।
- विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों की उपलब्धियों पर सम्मान।
- विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों द्वारा विशेष शोधपत्र, खेल कूद में उल्लेखनीय उपलब्धि अथवा अन्य उपलब्धियों पर सम्मान।
विश्वविद्यालय अपना 48वां स्थापना दिवस एक अगस्त को मनाने जा रहा है। इस कार्यक्रम में राज्यपाल आनंदी बेन पटेल मुख्य अतिथि होंगी। इसके लिए सैद्धांतिक सहमति मिल गई हैं।
- डॉ. डीसी गुप्ता, कुलपति बीयू
इधर आरजीपीवी में परीक्षा केंद्र तक ऑनलाइन भेजे जाएंगे प्रश्नप्रत्र
डिजिटिलाइजेशन की ओर बढ़ रहे राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (आरजीपीवी) ने प्रिंटिंग और ट्रांसपोर्ट पर आने वाले लाखों रुपए के खर्च को बचाने के लिए अब एक और प्रयोग शुरू किया है। इस कड़ी में सभी परीक्षाओं के प्रश्नपत्र छपवाने के बजाय परीक्षा केंद्रों पर भेजे जाने का निर्णय लिया गया है।
पेपर ऑनलाइन भेजने से आरजीपीवी को पेपर प्रिटिंग और ट्रांसपोर्ट में खर्च होने वाले लाखों रुपए की बचत होगी। आरजीपीवी ग्रेडिंग और नान ग्रेडिंग के प्रथम से आठवें सेमेस्टर तथा सीबीसीएस के प्रथम से चौथे सेमेस्टर की परीक्षाओं के पेपर ऑनलाइन भेजेगा।
इन परीक्षा में करीब 80 हजार विद्यार्थी शामिल होंगे। परीक्षाओं के दौरान पेपरों की संख्या करीब सवा तीन लाख हो जाती है। अभी तक पेपरों को ट्रक के माध्यम से सील बंद पेटियों में भेजा जाता था। पेपर पुलिस थाने या कलेक्टर की निगरानी में रखे जाते थे, उन्हें डिलिवर करने में आरजीपीवी को काफ ी खर्च उठाना पड़ता था। ऑनलाइन पेपर भेजने से इस पूरी प्रक्रिया में आने वाले खर्च की बचत की जा सकेगी।
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