scriptएमपी की जीत के असली हीरो, रो पड़े कोच चंद्रकांत पंडित, याद किया 23 साल पुराना वाकया | Coach Chandrakant Pandit cried after MP's victory | Patrika News

एमपी की जीत के असली हीरो, रो पड़े कोच चंद्रकांत पंडित, याद किया 23 साल पुराना वाकया

locationभोपालPublished: Jun 26, 2022 06:43:20 pm

Submitted by:

deepak deewan

मध्‍यप्रदेश रणजी टीम के हेडकोच चंद्रकांत पंडित की कप्तानी में ही टीम पहली बार फायनल में पहुंची थी
 

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भोपाल। बहुत कम लोगों के सपने ऐसे पूरे होते हैं। एमपी ने पहली बार रणजी ट्रॉफी जीती तो प्लेयर्स के साथ ही टीम के हेड कोच चंद्रकांत पंडित को भी इसका सबसे ज्यादा श्रेय दिया गया। सीएम शिवराजसिंह चौहान ने भी एमपी क्रिकेट टीम के साथ कोच चंद्रकांत पंडित को भी इस ऐतिहासिक जीत की बधाई दी. दरअसल इस जीत के साथ ही पंडित का पुराना सपना भी साकार हो गया. 23 साल पहले उन्हीं की कप्तानी में एमपी पहली बार रणजी ट्रॉफी के फायनल में पहुंचा था. उस वक्त टीम हार गई थी और एमपी विजेता बनने से वंचित हो गया. मैच के बाद कप्तान रो पडे थे. रविवार को भी एमपी की जीत के साथ ही चंद्रकांत पंडित की आंखें नम हो गईं हालांकि इस बार उनकी आंखों से खुशी के आंसू छलके.

एमपी ने जिस बेंगलूरू में मुंबई को मात दी उसी मैदान पर पंडित बहुत नजदीकी अंतर से मैच गंवा बैठे थे. अब बेंगलुरू के उसी चिन्नास्वामी स्टेडियम में कोच के रूप में चंद्रकांत पंडित ने इतिहास रच दिया और उनकी एमपी टीम के रणबांकुरों ने 41 बार की चैंपियन मुंबई को करारी शिकस्‍त देकर पहली बार रणजी ट्राफी अपने नाम कर ली।

मीडिया से बातचीत में भी चंद्रकांत पंडित ने टीम के कप्‍तान के साथ पूरी युवा टीम के खेल को सराहा. उन्होंने भावुक होते हुए कहा कि मैंने 23 साल पहले यह मैदान छोड़ा था लेकिन ईश्‍वर के आशीर्वाद से हमने यहीं पर वापसी की। पंडित ने दोहराया कि वे मध्‍यप्रदेश में क्रिकेट को अभी और पल्‍लवित करना चाहते हैं। खास बात यह है कि कोच के रूप में वे मुंबई को भी राष्‍ट्रीय क्रिकेट चैंपियन बना चुके हैं. वे विदर्भ के भी कोच रहे।

रणजी फाइनल में मुंबई के खिलाफ मैच में मध्यप्रदेश ने दूसरे दिन ही अपनी स्थिति खासी मजबूत कर ली थी लेकिन कोच चंद्रकांत पंडित बेहद शांत बने रहे। रविवार को रणजी फाइनल के अंतिम दिन का खेल शुरु होने से लेकर अंतिम गेंद डाले जाने तक उनकी ये खामोशी बरकरार रही. वे चुपचाप अपने खिलाड़‍ियों के प्रदर्शन पर नजर रख रहे थे और उन्हें आवश्यक मार्गदर्शन दे रहे थे। मध्‍यप्रदेश के रणजी ट्राफी चैंपियन बनने से पंडित के साथ ही प्रदेश के पूर्व अंतर्राष्‍ट्रीय क्रिकेटर स्‍वर्गीय कैप्‍टन मुश्‍ताक अली का सपना भी साकार हो गया. वे हमेशा मध्‍यप्रदेश टीम के रणजी ट्राफी जीतने की बात कहा करते थे।

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