दिल्ली हार के बाद कांग्रेस में घमासान
भोपालPublished: Feb 13, 2020 09:33:26 pm
सिंधिया बोले नई सोच के साथ नई रणनीति की जरुरत
दिल्ली हार के बाद कांग्रेस में घमासान
भोपाल : दिल्ली में शून्य पर सिमटी कांग्रेस में अंदरुनी घमासान तेज हो गया है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अब रणनीति पर सवाल उठाने लगे हैं। यहां तक कि हार के लिए एक दूसरे को भी दोषी ठहरा रहे हैं। पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने पार्टी को रणनीति बदलने की सलाह दी है। वहीं, हरियाणा के पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने दिल्ली चुनाव में कांग्रेस के प्रभारी रहे पीसी चाको पर निशाना साधा है। मध्यप्रदेश के पृथ्वीपुर पहुंचे ज्योतिरादित्य सिंधिया ने मीडिया से कहा कि हमारी पार्टी के लिए यह बेहद निराशाजनक है। कांग्रेस को नई सोच और नई रणनीति पर काम करने की आवश्यकता है। देश बदल गया है, इसलिए हमें देश के लोगों के साथ नए तरीके से सोचने और जुडऩे का विकल्प चुनना होगा।
मंत्रियों जैसा व्यवहार करते हैं हमारे नेता : जयराम रमेश
पूर्व केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश ने कांग्रेस नेताओं पर तल्ख टिप्पणी की है। दिल्ली के अलावा यूपी और बिहार में कांग्रेस की स्थिति पर चिंता जताते हुए जयराम रमेश ने कहा कि पार्टी को खुद में बड़ा बदलाव करना होगा, नहीं तो वह अप्रासंगिक हो जाएगी। जयराम रमेश ने कहा, कि कांग्रेस नेताओं को खुद को फिर से तैयार करना होगा। अगर प्रासंगिक रहना है तो कांग्रेस पार्टी को यह करना ही होगा। वरना हमारा कोई महत्व नहीं बचेगा। हमें अहंकार छोडऩा होगा। छह साल सत्ता से बाहर रहने के बावजूद हम में से कुछ ऐसे हैं, जो मंत्रियों जैसा व्यवहार करते हैं।
पीसी चाको ने शीला दीक्षित को बताया था हार का कारण!
दिल्ली में एकबार फिर से कांग्रेस की शून्य सीटें आईं हैं। इस हार की जिम्मेदारी लेते हुए पहले दिल्ली कांग्रेस चीफ सुभाष चोपड़ा, उसके बाद प्रभारी पीसी चाको ने इस्तीफा दे दिया। पीसी चाको इस हार के लिए पूर्व सीएम और दिवंगत हो चुकीं शीला दीक्षित को जिम्मेदार बता गए थे। पीसी चाको ने इस्तीफा देते हुए कहा, कांग्रेस पार्टी का डाउनफॉल 2013 में शुरू हो गया था, जब शीला दीक्षित जी मुख्यमंत्री थीं।