दिल्ली में हुई बैठक
बता दें कि, कांग्रेस और बसपा के बीच चली इस अहम बैठक की वजह पार्टी द्वारा प्रदेश के अनुसूचित जाति वर्ग पर पकड़ मज़बूत करना है। एक हिन्दी वेबसाइट के मुताबिक, मध्यप्रदेश कांग्रेस के अनुसूचित जाति विभाग के अध्यक्ष सुरेंद्र चौधरी दो दिन से दिल्ली में हैं, जहां उनकी मुलाकात पीसीसी अध्यक्ष कमलनाथ और सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया समेत अनुसूचित जाति विभाग के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. नितिन राउत से हुई।
पहली प्रक्रिया पूरी होने पर होगी नेताओं के बीच चर्चा
वेबसाइट ने सूत्रों का हवाला देते हुए यह भी लिखा कि, तीनो नेताओं ने चौधरी को बसपा से सीटों के समझौते के मापदंड बनाए जाएं, इसमें उन्हें 2013 और इसके पहले कुछ विधानसभा चुनाव में बसपा असर वाली सीटों का अध्ययन कर वहां कांग्रेस की स्थिति पर रिपोर्ट देने की जिम्मेदारी दी। हालांकि, अभी गठबंधन पर बात करने की पहली बैठक और रणनीति थी, लेकिन जिन मांपदंडों को तैयार करने की जिम्मेदारी अनुसूचित जाति विभाग के अध्यक्ष को दी है, उसको पूरा करके दोनो पार्टियों को सौंपा जाएगा। अगर दोनो ही दल उन मापदंडों से सहमत होंगे तो उस आधार पर दोनो दलों का प्रदेश में गठबंधन हो जाएगा। वहीं, अगर इसमें किसी दल की असहमति बनती है, तो पहली प्राथमिकता उसमें सुधार की होगी, अगर इसके बाद भी सुधार की गुंजाइश होगी, दोनो दलों के सहमत होने पर ही गठबंदन होगा, लेकिन किसी मापदंड को लेकर दोने दल ही सहमत नही होते तो ऐसी स्थिति में गठबंधन नहीं हो सकेगा।