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संक्रमण दर लगातार बढऩा खतरे की घंटी, गाइडलाइन का पालन होना बंद, ओमीक्रॉन के नए सब वैरिएंट ने बढ़ाई चिंता

- अधिकारियों में चर्चा का विषय, लेकिन संक्रमण दर कम करने न तो नाइट कफ्र्यू का पालन हो रहा, न गाइडलाइन का, होम आइसोलेशन के मरीजों को पडऩे लगी दवा की जरूरत, लेकिन टीमों की कमी के चलते दवा भी नहीं पहुंच रही।

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संक्रमण दर लगातार बढऩा खतरे की घंटी, गाइडलाइन का पालन होना बंद, ओमीक्रॉन के नए सब वैरिएंट ने बढ़ाई चिंता

संक्रमण दर लगातार बढऩा खतरे की घंटी, गाइडलाइन का पालन होना बंद, ओमीक्रॉन के नए सब वैरिएंट ने बढ़ाई चिंता

भोपाल. राजधानी में संक्रमण दर लगातार बढ़ती जा रही है। रविवार की रिपोर्ट में 7831 सैंपल में से 2128 की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। हर चौथा सैंपल पॉजिटिव निकल रहा है। जानकारों का कहना है कि संक्रमण दर इसी प्रकार बढ़ती रही तो नए वैरिएंट आने का खतरा बढ़ता जाता है। इंदौर में हुआ भी यही, ओमीक्रॉन के सब वैरिएंट की पुष्टि हो चुकी है। ये मरीजों के फेंफड़ों पर असर डाल रहा है, ऑक्सीजन की जरूरत शुरू पडऩे लगी है। भोपाल की संक्रमण दर भी पिछले कई दिनों से खासी बढ़ी हुई है। ऐसे में यहां भी ओमीक्रॉन के सब वैरिएंट के फैलने का खतरा बढ़ गया है। प्रशासन को इस ओर ध्यान देते हुए अभी से सख्ती बढ़ा देनी चाहिए। लेकिन यहां पिछले कई दिनों से स्थिति ये हो रही है कि लोग मास्क भी नहीं लगा रहे। बाजारों से टीमें गायब हो चुकी हैं। सख्ती के नाम पर मास्क की चालानी रिपोर्ट रोजाना पेश की दी जाती है।

इस समय भोपाल में सौ के लगभग माइक्रो कंटेनमेंट बन चुके हैं जिसमें 12 हजार 534 मरीज होम आइसोलेशन में रह रहे हैं। लेकिन कंटेनमेंट में सख्ती न होने से बिना लक्षणों वाले मरीज भी बाहर घूम रहे हैं। जिससे संक्रमण और फैल रहा है। जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग के अफसरों ने अब रात ग्यारह बजे तक कोरोना जांच कराने की सुविधा दे दी है। लेकिन ये कौन तय करेगा कि सैंपल देकर जा रहा व्यक्ति रिपोर्ट आने तक घर में ही क्वारेंटाइन रहेगा।

मरीजों को पड़ रही है दवा की जरूरत
होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों को अब दवा की जरूरत पडऩे लगी है। लेकिन उनकी संख्या इतनी है कि चंद टीमें उनको दवा उपलब्ध नहीं करा पा रहीं। ऐसे में अब कई मरीज जो पहले फोन नहीं उठाते थे, वह पलटकर फोन करने लगे हैं। लेकिन टीमों की कमी के चलते दवा नहीं पहुंच पा रही। डॉक्टरों ने अपील की है कि मरीज होम आइसोलेशन में ही रहें बाहर घूमने से उनको परेशानी बढ़ सकती है, दूसरों के लिए भी खतरा है।

भोपाल में ऐसे आ रहे हैं केस

तारीख--------सैंपल-----पॉजिटिव
23 जनवरी----7831-----2128

22 जनवरी---6662------1910
21 जनवरी---8291-----2107

20 जनवरी---5650-----1991
19 जनवरी---7290------1710