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कोरोना का असर- सांची ने बंद किया श्रीखंड, पेड़ा, बर्फी और मिल्क केक का उत्पादन

locationभोपालPublished: Apr 01, 2020 11:03:57 pm

– सिर्फ मशीन से ही पैकिंग, दूध, मठा, दही और लस्सी का प्रोडक्शन जारी- भोपाल दुग्ध संघ में बन रहे बिना हाथ लगे उत्पाद

दूध उत्पादन पर भी असर

ब्यावरा.समीपस्थ गांगाहोनी गांव में इस तरह से लोग खेती के काम में व्यस्त हैं।

भोपाल। कोरोना का असर सांची दुग्ध संघ में भी देखने को मिल रहा है। सांची ने दुग्ध उत्पादों में कटौती कर दी है। संघ ने सिर्फ मशीन से बनने वाले प्रोडक्ट जैसे दूध, मठा, दही और लस्सी का प्रोडक्शन जारी रखा है। इसके साथ ही हाथ से बनाए जाने वाले श्रीखंड, पेड़ा, बर्फी और मिल्क केक का उत्पादन बंद कर दिया है। संघ ने साफ किया है कि यह फैसला कोरोना वायरस को देखते हुए लिया गया है।
सांची दुग्ध संघ के पदाधिकारियों ने बताया कि जिले में रोजाना 2 लाख 70 हजार लीटर दूध की सप्लाई हो रही है। जिले में दूध सप्लाई में कोई परेशानी नहीं आ रही है। लाकडाउन के दौरान करीब 1 हजार से ज्यादा सांची पार्लर रोजाना खुल रहे हैं। लाकडाउन के चलते दूध की डिमांड बढ़ी है। हालांकि लाकडाउन का असर देखने को नही मिला है। बीते आठ दिन से दूध की सप्लाई में कोई दिक्कत नहीं आई है। अधिकारियों ने बताया कि लाकडाउन के पहले ही दिन सांची पार्लरों एवं बूथों से सिर्फ 3.78 लाख लीटर दूध सप्लाई किया गया था। इसके बाद से ही दूध की सप्लाई भी बढाई गई थी। सीईओ डा. केके सक्सेना ने बताया कि जिले में पर्याप्त मात्रा में दूध की संकलन हो रहा है। शहरवासियों को उनकी मांग के अनुरूप दूध सप्लाई किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि हबीबगंज स्थिति प्रोडेक्शन प्लांट में कोरोना को देखते हुए निर्णय लिया गया था कि सिर्फ मशीन ने बनने वाले दुग्ध उत्पादों का प्रोडेक्शन किया जाएगा। इसी के तहत श्रीखंड, पेड़ा, बर्फी और मिल्क केक का उत्पादन बंद कर दिया है। सक्सेना ने बताया कि कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए लाकडाउन किया गया है। इसके चलते ही सिर्फ मशीनों की मदद से प्रोडक्ट बना रहे हैं। कर्मचारी जिन उत्पादों को खुद बनाते थे। उनका प्रोडेक्शन आगामी आदेश तक बंद किया गया है।
दूध सप्लाई में प्रशासन की भूमिका अहम


लाकडाउन के बाद से ही अचानक सांची दूध की डिमांड बढ़ गई थी। जिसके बाद प्रशासन ने निर्णय लिया था कि सांची पार्लर खुले रहेंगे और दूध की सप्लाई होगी। दुग्ध संघ के पदाधिकारियों ने बताया कि कमिश्नर कल्पना श्रीवास्तव और कलेक्टर तरुण पिथोड़े ने सांची दूध के उत्पादन और वितरण को लेकर निर्देश दिए थे। जिसके अनुसार ही जिले में दूध की सप्लाई बेहतर तरीके से हो रही है।

– हबीबगंज स्थित मिल्क प्रोडेक्शन सेंटर पर मशीन से पैक होने वाले उत्पाद बनाए जा रहे है। कर्मचारियों की मदद से बनाए जाने वाले उत्पादों का प्रोडक्शन बंद कर दिया है। जिले में भरपूर दूध की सप्लाई हो रही है।
– केके सक्सेना, सीईओ, भोपाल दुग्ध संघ

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