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भोपाल

इस दिन मिल सकता है किसानों को ‘कर्जमाफी’ सर्टिफिकेट

कर्ज माफी को लेकर शुरू हुई कवायद…

भोपालDec 16, 2018 / 06:25 pm

दीपेश तिवारी

kisan karj mafi in MP

इस दिन मिल सकता है किसानों को ‘कर्जमाफी’ सर्टिफिकेट

भोपाल। मध्यप्रदेश में हुए विधानसभा चुनावों में हार और जीत के बाद सरकारें किसानों को लेकर संजिदा होती दिख रही हैं। इसी के चलते जल्द ही किसानों को सरकार से एक बड़ा तोहफा मिल सकता है।

सामने आ रही जानकारी के अनुसार कमलनाथ सरकार अपने वादे के मुताबिक वचन पत्र में दिए गए आश्वासन के तहत सहकारी और व्यावसायिक बैंकों से ऋण पाए किसानों के कर्ज माफ कर सकती है।

इसके तहत मध्यप्रदेश में सत्ता में 14 साल बाद काबिज हुई कांग्रेस की सरकार कमलनाथ के नेतृत्व में प्रदेश के किसानों को नए साल का बड़ा तोहफा दे सकती है।

वहीं दूसरी ओर चर्चा है कि 5 राज्यों के विधानसभा चुनाव में बीजेपी को मिली तगड़ी हार के बाद केन्द्र सरकार अब किसानों को बड़ी खुशी देने की तैयारी में लग गई है।

बताया जाता है कि केन्द्र सरकार किसानों के कर्ज माफी की तैयारी में लगी हुई है। इसके चलते फरवरी में पेश होने वाले बजट में किसानों के लिए कई नई योजनाओं की घोषणा होने की संभावना है।

कर्जमाफी पर यह बोले राहुल गांधी: कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने शुक्रवार को कहा कि मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में किसानों का कर्ज जल्द माफ कर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान के किसानों आपसे मैं यह कहना चाहता हूं कि बहुत जल्द आपका कर्ज माफ होने जा रहा है। कांग्रेस अध्यक्ष ने किसानों की कर्जमाफी के वादे का उल्लेख अपनी चुनावी सभाओं में किया था।

अब तक ये हुआ मध्यप्रदेश में…
बताया जाता है कि कमलनाथ के निर्देश के बाद सरकार इस काम में तेजी से जुड़ गई है और मुख्य सचिव ने शनिवार को एक बैठक लेकर अधिकारियों को इस बारे में तेजी से काम करने के निर्देश दिए हैं।

मध्यप्रदेश में शनिवार को ही सहकारिता विभाग के प्रमुख सचिव केसी गुप्ता ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सभी जिला सहकारी बैंकों को निर्देश दिए हैं कि वे रविवार की देर शाम तक सभी किसानों की सूची भेजें जिन्होंने सहकारी बैंकों से कर्ज दिया है।

इसके साथ ही व्यवसायिक बैंकों को भी सोमवार की शाम तक सभी किसानों की सूची भेजने के निर्देश दिए गए हैं। सरकार कर्ज माफी के लिए उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, पंजाब और कर्नाटक के मॉडलों का अध्ययन कर रही है और इनके आधार पर ही मध्य प्रदेश में किसानों की कर्ज माफी का फार्मूला तय किया जाएगा।सूत्रों के मुताबिक सोमवार तक अंतिम आंकड़े आ जाएंगे।

इन्हें भेजा गया पंजाब-महाराष्ट्र…
वहीं पंजाब और महाराष्ट्र मॉडल का अध्ययन करने के लिए मंडी बोर्ड के प्रबंध संचालक फैज अहमद किदवई चंडीगढ़ और एडीशनल डायरेक्टर बीएम सहारे महाराष्ट्र गए हैं।

मैप आईटी की टीम को भी चंडीगढ़ भेजा गया है, क्योंकि पंजाब सरकार ने किसानों की तमाम जानकारी, आधार लिंक, अलग-अलग कैटेगरी के कर्ज के साथ डिफाल्टर किसानों की अलग-अलग श्रेणियों को लेकर एक पोर्टल तैयार किया है। टीम इसका अध्ययन करेगी, ताकि मप्र में भी ऐसा ही पोर्टल तैयार हो जाए।

सूत्रों के अनुसार शासन स्तर पर ऐसी तैयारी है कि सरकार के गठन के तुरंत बाद दस दिन के भीतर कर्ज माफी के आदेश जारी होंगे। बताया जा रहा है कि कांग्रेस की नई सरकार को कर्जमाफी के लिए कम से कम 18 से 20 हजार करोड़ रुपए की जरूरत होगी।

बैंकों से मांगा ब्यौरा…
शनिवार को मुख्य सचिव बसंत प्रताप सिंह ने कृषि एवं सहकारिता विभाग के अधिकारियों की बैठक लेकर इसकी तैयारी के बारे में पूछा और बैंकों से कर्जमाफी का ब्योरा मांगाने को कहा। सहकारिता अधिकारियों ने बताया कि हमारे पास 40.96 लाख किसानों पर 56 हजार करोड़ का कर्ज होने का अनुमान है।

2 लाख तक का कर्जा होगा माफ!…
सूत्र बताते हैं कि अभी कर्जमाफी के ब्लूप्रिंट में 2 लाख तक का कर्जा माफ करने की योजना है। कर्जमाफी के दायरे में सहकारी और राष्ट्रीयकृत बैंक दोनों आएंगे।

कर्जमाफी का फायदा ओवरड्यू और समय पर लेनदेन करने वाले किसानों को कर्ज खाते में वर्तमान कर्जराशि के आधार पर माफी मिलेगी। कर्जमाफी से राज्य पर करीब 60 हजार करोड़ रुपए का वित्तीय भर आएगा। कर्जमाफी के ब्लूप्रिंट में माफी के लिए राशि जुटाने का जरिया भी शामिल है।

लोकसभा चुनावों का रखा जाएगा ध्यान…
कर्जमाफी के ब्लूप्रिंट से जुड़े सूत्रों ने बताया कि चूंकि निकट भविष्य में देश में लोकसभा चुनाव होना है, ऐसे में मप्र में किसानों की कर्जमाफी को पूरा करना कांग्रेस की प्राथमिकता में है। क्योंकि अभी तक भाजपा चुनावों में यह आरोप लगाती आ रही है कि पंजाब एवं कर्नाटक में कांग्रेस ने किसानों का कर्जा माफ नहीं किया।

यही वजह है कि कांग्रेस लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखकर किसानों की कर्जमाफी करेगी। वहीं चुनाव नतीजों के बाद राहुल गांधी का एक वीडियो भी वायरल हो रहा जिसमे वह कर्जमाफी को नकारते नजर आ रहे।

जानकारों का कहना है कि आने वाले करीब 6 माह में लोकसभा चुनाव भी है ऐसे में सरकार के पास समय कम है। इसलिए इस घोषणा पर अमल करना चुनौती भी है लेकिन जरूरी भी है।

MP के आंकड़े: मध्‍य प्रदेश के 41 लाख किसानों ने 56,377 करोड़ रुपये लोन लिया है। वहीं 21 लाख ऐसे किसान हैं जिन्‍होंने 14,300 करोड़ रुपये का कर्ज लिया और अदा नहीं किया है। यह कर्ज अब एनपीए बन चुका है। इसमें वे किसान भी शामिल हैं जिन्‍होंने 2 लाख रुपये से ज्‍यादा का लोन ले रखा है।

किसानों का कर्ज माफ करने के लिए केन्द्र सरकार भी तैयार!…
वहीं दूसरी ओर 5 राज्यों के विधानसभा चुनाव में बीजेपी को मिली तगड़ी हार के बाद केन्द्र सरकार अब किसानों को बड़ी खुशी देने की तैयारी में लग गई है।

बताया जा रहा है कि केन्द्र सरकार किसानों के कर्ज माफी की तैयारी में लगी हुई है। वहीं, फरवरी में पेश होने वाले बजट में किसानों के लिए कई नई योजनाओं की घोषणा होने की संभावना है।

सूत्रों के अनुसार केंद्र सरकार अब देश भर के 26.3 करोड़ किसानों और उनके आश्रितों द्वारा लिए गए विभिन्न सरकारी बैंकों से लिए गए कर्ज को माफ करने की योजना पर काम कर रही है। कर्ज माफ होने की कुल रकम करीब 4 लाख करोड़ रुपए है।

लोकसभा चुनाव की तैयारी तो नहीं!…
जानकारों का मानना है कि केंद्र सरकार ये कदम इसलिए उठा रही है क्योंकि विधानसभा चुनावों में किसान सबसे ज्यादा नाराज थे। अब सरकार लोकलुभावन घोषणाएं करने जा रही हैं, ताकि इसका फायदा पार्टी को मई 2019 में होने वाले लोकसभा चुनावों में मिल सके।

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