बाउंड्रीवॉल बनाने के लिए 10 साल से चल रहा है पत्र व्यवहार
स्कूल परिसर की बाउंड्रीवॉल बनाने के लिए पिछले 10 सालों से पत्र व्यवहार चल रहा है, लेकिन अब तक कोई निर्णय नहीं हो पाया है। स्कूल परिसर में लगातार कब्जे होते जा रहे हैं। जैसे ही एक घर पूरा होता है, उससे लगकर दूसरा घर बनने लगता है और बाद में वही घर स्कूल की सीमा बन जाता है। ऐसे करते-करते परिसर सिकुडकऱ लगभग आधा हो चुका है।
तीन छात्राएं एक साथ जाएं तब खुलता है ताला
बदमाशों का आतंक इतना है कि छात्रों के सुविधाघर को आवारा तत्वों ने तोड़ दिया है। इस डर से शिक्षकों ने छात्राओं के सुविधाघर पर ताला डलवा दिया है। बार-बार ताला खोलने बंद होने से बचाने के लिए तीन या तीन से अधिक छात्राएं एक साथ बाथरूम की चाबी लेकर निकलती हैं।
चारों ओर से खुले परिसर में आवारा पशु घूमते नजर आते हैं। कुत्ते तो भवन के सूखे गलियारे में ही अड्डा जमाए रहते हैं। पूरे मैदान में गंदगी, शराब की बोतलें और अन्य कचरा पड़ा रहना तो साल भर की समस्या है।