अशोक नगर के पिपरई क्षेत्र के जैन धर्मशाला में सजल और आयुषी का विवाह सोमवार को अनोखे अंदाज में हुआ। दरअसल, वर और वधु पक्ष के लोग जोर-शोर से शादी की तैयारी करते रहे, लेकिन दोनों ही पक्ष के लोग पंडितजी को बुक करना ही भूल गए। जब शादी की रस्मों की तैयारी की जाने लगी तो किसी ने पूछा कि पंडितजी नहीं आए, यह सुनते ही वहां दोनों पक्षों के लोग टेंशन में आ गए थे।
पंडितजी को ढूंढा, लेकिन मिली असफलता
फेरों की रस्म से पहले पूरे शहर में पंडितजी को खोजा गया, लेकिन दिगंबर जैन पद्धति से विवाह कराने वाला कोई पंडित उपलब्ध नहीं हो सका। सभी लोग निराश हुए, लेकिन दोनों ही पक्ष समझदार थे, उन्होंने इसका भी हल निकाल लिया।
रिश्तेदारों ने इंटरनेट से ढूंढी शादी की विधि
जब दोनों पक्ष निराश हुए तो किसी ने इंटरनेट से शादी की विधि ढूंढकर शादी कराने का आइडिया दे दिया। इसके बाद दोनों ही समझदार पक्षों ने इंटरनेट से शादी की विधि ढूंढने का फैसला लिया। इंटरनेट पर सभी लोग सर्चिंग में भिड़ गए। सभी ने गूगल का सहारा लिया।
सर्चिंग में मिली 45 मिनट की विधि
इस बीच एक रिश्तेदार को 45 मिनट में शादी करने की पूरी विधि मिल गई। इस पर दोनों ही पक्ष सहमत हो गए। एक रिश्तेदार जिन्हें पूरे श्लोक याद थे और संस्कृत के भी अच्छे ज्ञाता थे, उन्होंने इस विधि के मुताबिक विवाह संस्कार पूरा करवाया।
काफी सरल है ये विधि
-नव दंपती का विवाह राहुल जैन नामक व्यक्ति ने पूरा कराया। उनके मुताबिक पहले तो वे खुद दुविधा में फंस गए थे। इतनी रात को पंडितजी कहां से ढूंढे।
-दोनों समझदार पक्षों की राय से तुरंत ही समाधान निकल गया। उन्होंने बताया कि समाज में ज्यादातर लोगों को श्लोक कंठस्थ याद रहते हैं।
-शादी की विधि में द्रव्य से पूजा-अर्चना, हवन, जैन विधि से फेरे और कन्यादान कराया गया।