बैतूलबाजार में करीब 40 हितग्रहियों ने भी आवास योजना का लाभ मिलने के बाद आवास सरेंडर कर दिए हैं। इनमें से कुछ हितग्राहियों को प्रथम किस्त के रूप में एक लाख रुपए की राशि भी मिल गई थी, जिनसे रिकवरी के लिए नोटिस भी जारी किए गए हैं। इसी प्रकार बैतूल नगरीय क्षेत्र की बात करें तो यहां योजना की शुरूआत से अभी तक करीब 200 से अधिक हितग्राहियों ने आवास स्वीकृत होने के बाद सरेंडर कर दिए, लेकिन इनमें सरेंडर के कारण अलग-अलग बताए जा रहे हैं। इनमें जमीनी संबंधी विवाद, आर्थिक स्थिति ठीक नहीं होना, पारिवारिक मतभेद आदि कारण बताए जाते हैं। इधर भैंसदेही में प्रशासक के कार्यकाल के दौरान बड़ी संख्या में लोगों ने आवास योजना का लाभ लेने के लिए आवेदन किए थे। इनमें से 81 हितग्राहियों के आवेदन जमीन का अभाव बताकर सरेंडर कराए गए थे।
जिले के नगरीय निकायों की बात करें तो इन निकायों में 818 प्रधानमंत्री आवास योजना अप्रारंभ की स्थिति में है। जबकि आवास निर्माण के लिए हितग्राहियों के खातों में राशि भी जारी की जा चुकी हैं। इनमें सर्वाधिक आवास घोड़ाडोंगरी के 206, बैतूलबाजार के 164 और शाहपुर के 159 बताए जाते हैं। आवास निर्माण शुरू नहीं किए जाने को लेकर निकायों ने हितग्राहियों को नोटिस जारी कर समय-सीमा में कार्य शुरू किए जाने के लिए कहा हैं लेकिन हितग्राहियों ने विभिन्न समस्याएं बताकर अभी तक काम शुरू नहीं किया है। वहीं अपूर्ण आवासों की संख्या 2 हजार 849 के लगभग होना बताई जाती है। जिन्होंने आवास बनाना तो शुरू किया लेकिन अभी तक आवास का निर्माण पूर्ण नहीं किया हैं।
– भैंसदेही में 81 आवास जो सरेंडर के बताए जा रहे हैं वह प्रशासक के कार्यकाल के दौरान स्वीकृत हुए थे। हितग्राहियों के पास आवास निर्माण के लिए जमीन नहीं थी। इस वजह से स्वीकृत आवास सरेंडर कराए गए थे।
– मनीष सोलंकी, अध्यक्ष नगर परिषद भैंसदेही।
– 40 हितग्राही हैं जिन्होंने आवास योजना की प्रथम किस्त एक लाख रुपए ले ली हैं लेकिन आज तक आवास नहीं बनाए। हमनें आवास निर्माण के लिए नोटिस जारी किया तो कुछ ने राशि सरेंडर कर दी हैं तो कुछ से राशि वसूलना बाकी है।
– विजय तिवारी, सीएमओ बैतूलबाजार।