कमलनाथ ने प्रदेश प्रभारी दीपक बाबरिया के सामने इस्तीफे की पेशकश की है। बताया जा रहा है कि दीपक बाबरिया इस मामले में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी के साथ विचार -विमर्श करेंगे। दीपक बाबरिया ने कमलनाथ को राहुल गांधी से विचार-विमर्श करने की सलाह दी है।
विधानसभा चुनाव के बाद ही कमलनाथ अध्यक्ष पद छोड़ना चाहते थे। कमलनाथ ने कहा- विधानसभा चुनाव के बाद पार्टी प्रदेश अध्यक्ष छोड़ने के लिए राहुल गांधी से आग्रह किया था लेकिन उन्होंने इंकार कर दिया। कमलनाथ ने कहा था कि मुख्यमंत्री बनने के बाद अध्यक्ष पद के साथ न्याय नहीं हो पाएगा ऐसे में पार्टी को नए प्रदेश अध्यक्ष की जरूरत है। जिससे की रसकार और संगठन सुचारू रबप से काम कर सकें।
विधानसभा में दिलाई थी जीत
कमलनाथ को विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी का अध्यक्ष नियुक्त किया गया था। कमलनाथ ने प्रदेश में कांग्रेस के 15 सालों से वनवास को खत्म कर सत्ता में वापसी कराई थी। कमलनाथ के सीएम बनते ही प्रदेश अध्यक्ष पद से इस्तीफे के कयास लगाए जा रहे थे। अजय सिंह का नाम भी प्रदेश अध्यक्ष की दौड़ में सामने आया था। हालांकि बाद में खुद कमलनाथ ने इसका खंडन करते हुए कहा था कि लोकसभा चुनाव तक प्रदेश के संगठन में कोई बदलाव नहीं होगा।