गौरतलब है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के बेटे कार्तिकेय सिंह चौहान आज शानिवार को जिला अदालत पहुंचे। जिला कोर्ट के MP/MLA की स्पेशल कोर्ट में कार्तिकेय के बयान दर्ज हुए।
30 अक्टूबर को पेश किया था मानहानि का दावा…
मध्यप्रदेश की राजनीति में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के पनामा पेपर्स वाले बयान से भूचाल सा आ गया था। आरोप लगाए जाने से नाराज मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के बेटे कार्तिकेय सिंह चौहान ने 30 अक्टूबर को जिला अदालत में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर मानहानि का दावा किया था।
कार्तिकेय सिंह चौहान की ओर से अधिवक्ता शीरीष श्रीवास्तव ने न्यायधीश सुरेश सिंह की कोर्ट में राहुल गांधी के विरुद्ध मानहानि का परिवाद पेश किया था।
ये है मामला…
दरअसल मालवा-निमाड़ के दो दिन के दौरे पर आए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कुछ दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे।
उज्जैन और झाबुआ की सभा में उन्होंने प्रदेश में व्यापमं और सिंहस्थ घोटाला का जिक्र करते हुए शिवराज पर हमला बोला था।
उन्होंने चुनावी भाषण में पनामा पेपर्स में मुख्यमंत्री के पुत्र का नाम होने का हवाला दिया। इसके बाद शिवराज भी राहुल के खिलाफ आक्रामक दिखे।
शिवराज ने ट्वीट कर ये लिखा…
शिवराज ने 29 अक्टूबर की रात करीब 12 बजे राहुल के नाम ट्वीट कर लिखा, आपने व्यापमं से लेकर पनामा पेपर्स में मेरे और मेरे परिवार के खिलाफ झूठे आरोप लगाए हैं।
इन दुर्भावनापूर्ण बयानों पर अदालत में मानहानि का वाद दायर करूंगा। उधर, शिवराज के पुत्र कार्तिकेय ने भी कहा था कि मैं राहुल के बयान से दुखी हूं। कानूनी कार्रवाई करूंगा।
राहुल ने ये भी किए थे सवाल…
उज्जैन की सभा में राहुल ने सवाल किया था कि क्या 400 करोड़ खर्च करने के बाद भी शिप्रा नदी की सफाई हुई। उन्होंने गंदे पानी से भरी बोतल दिखाते हुए कहा कि यह है मध्यप्रदेश का पानी।
एेसा पानी मंत्री को पिला दो तो वह बेहोश हो जाए। यह लोग धर्म की बात करते हैं, इन्होंने तो महाकुंभ से भी पैसे निकाल लिए। राहुल ने रफाल पर मोदी सरकार को कटघरे में खड़ा किया और कहा कि सीबीआइ निदेशक इसकी जांच शुरू करने वाले थे, लेकिन उन्हें हटा दिया।
सरकार जानती थी कि अगर सीबीआइ जांच करेगी तो देश को चौकीदार की असलियत पता चल जाती।
ये भी लगाए थे आरोप…..
महाकाल दर्शन के बाद उज्जैन में जनसभा को संबोधित करते हुए राहुल ने कहा कि यूपीए सरकार ने सशर्त 126 रफाल खरीदने को कहा था, लेकिन नरेन्द्र मोदी प्रधानमंत्री बनते ही अनिल अंबानी को साथ लेकर फ्रांस चले गए।