फिलहाल जिले में कर्फ्यू लगा है और जरूरत का समान खरीदने के लिए कुछ घंटों की धूट दी जा रही है। घटना के 11 दिन बाद भी खरगोन में हालात सामान्य नहीं हो पा रहे हैं। पुलिस ने अभी तक 153 आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा चुका है। एसपी को गोली मारने वाले आरोपी वसीम और भीड़ पर तलवार से हमला करने पहुंचे इरफान की पुष्टि हुई। दो दंगाइयों के विरुद्ध रासुका की कार्रवाई की गई है। जिनके फोटो पुलिस ने जारी किए हैं। एसपी रोहित काशवानी ने बताया कि उपद्रवी नवाज उर्फ नवाब पिता आशिक शेख निवासी तालाब चौक और मोहसिन उर्फ नाटी पिता तस्लीम निवासी जकरिया मस्जिद के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (NSA) की कार्रवाई की गई।
खरगोन हिंसा: एक उपद्रवी की सूचना देने पर मिलेगा 10 हजार का इनाम
हिंसा फैलाने के मामले में पुलिस ने 104 आरोपियों की पहचान कर ली है। इन सभी आरोपियों पर दस-दस हजार रुपए का इनाम घोषित किया गया है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि उपद्रव की घटना में शामिल एक आरोपी की सूचना देने पर 10 हजार का इनाम दिया जाएगा। वही हिंसा के दूसरे दिन मंगलवार को ही प्रशासन ने दूसरे दिन मंगलवार को ही कांग्रेस नेता और पूर्व पार्षद अलीम शेख के बस स्टैंड पर होटल लजीज पर बुलडोजर चलाया गया। ये होटल करीब 20 सालों से चल रहा था। प्रशासन ने होटल के अनाधिकृत हिस्से को तोड़ दिया।
खरगोन में 1988 से 2015 के बीच चार बार दंगों की घटना हुई है। सांप्रदायिक हिंसा फैलाने में इस बार उपद्रवियों ने अवैध हथियारों का भी खूब इस्तेमाल किया है, जो अभी तक नहीं हुआ था। इस बार गोली चलाने की घटना हुई। ये हथियार कैसे और कहां से दंगाइयों तक पहुंचे, यह पुलिस की जांच का हिस्सा है। खरगोन अवैध हथियारों का गढ़ रहा है। यहां से सिकलीगरों द्वारा बनाए जाने वाले हथियार देशभर में सप्लाई हो रहे हैं।