इससे सिर्फ सरकारी जमीन पर ही बुनियादी ढांचा खड़ा हो पा रहा है। अब भोपाल और इंदौर में मेट्रो प्रोजेक्ट का
काम शुरू होना है। इसके लिए निजी जमीन के अधिग्रहण की जरूरत पड़ेगी। निजी जमीन के अधिग्रहण के लिए सरकार भारी भरकम मुआवजा देने से बचना चाह रही है। इसीलिए यह टीडीआर पॉलिसी लाई जा रही है। इस नीति के आने से शहरी क्षेत्रों के मास्टर प्लान में सड़क, पुल-पुलिया, स्टेडियम, पार्क और ग्रीन बेल्ट के लिए प्रस्तावित क्षेत्र में निजी जमीन आने से इनका अधिग्रहण बिना मुआवजे के आसान हो जाएगा।
क्या है एफएआर
मास्टर प्लान में सभी क्षेत्रों का एफएआर तय होता है। उसके हिसाब से उपलब्ध भूखंड पर निर्माण हो सकता है। यदि कोई भूखंड एक हजार वर्गमीटर का है और इस पर एफएआर 1.5 है तो यहां 1500 वर्गमीटर का निर्माण हो सकता है। प्लॉट एरिया से सभी फ्लोर एरिया को भाग देने पर एफएआर निकलता है।
हमने टीडीआर का प्रस्ताव बनाकर राज्य सरकार को भेज दिया है। सरकार इसका नोटिफिकेशन जारी कर दावे-आपत्तियां आमंत्रित कर सुनवाई करेगी। इसके बाद ही लागू किया जाएगा। स्वाति मीणा, संचालक, नगर तथा ग्राम निवेश